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प्रमुख विपक्षी दलों का फैसला – नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का बहिष्कार करेंगे

प्रमुख विपक्षी दलों का फैसला – नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का बहिष्कार करेंगे

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नई दिल्ली, 23 मई। नए संसद भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति से कराने की विपक्ष की मांग के बीच कई राजनीतिक दलों के नेताओं ने 28 मई को आयोजित समारोह का बहिष्कार करने का फैसला किया है। कांग्रेस सहित कई विपक्षी दलों की मांग है कि संसद के नए भवन का उद्घाटन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से कराया जाए।

सूत्रों ने बताया कि समान विचारधारा वाले विपक्षी दलों के नेताओं ने इस मुद्दे पर चर्चा की और सदन में विभिन्न विपक्षी दलों के नेताओं द्वारा जल्द ही एक संयुक्त बयान जारी किया जाएगा, जिसमें उद्घाटन कार्यक्रम के संयुक्त बहिष्कार की घोषणा की जाएगी।

बुधवार को अंतिम फैसला करेंगे राजनीतिक दल

इस बीच, तृणमूल कांग्रेस और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) ने कहा कि वे उद्घाटन कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगे। सूत्रों ने कहा कि कार्यक्रम का औपचारिक निमंत्रण प्राप्त होने के बाद बुधवार को राजनीतिक दलों द्वारा अंतिम फैसला किया जाएगा।

राज्यसभा में तृणमूल के नेता डेरेक ओ’ ब्रायन ने ट्वीट किया, ‘संसद सिर्फ एक नई इमारत नहीं है, यह पुरानी परंपराओं, मूल्यों, मिसालों और नियमों के साथ एक प्रतिष्ठान है – यह भारतीय लोकतंत्र की नींव है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी यह नहीं समझते हैं। उनके लिए, रविवार को नई इमारत का उद्घाटन सिर्फ मैं, खुद के बारे में है। इसलिए हमें इससे बाहर रखें।’

भाकपा महासचिव डी राजा ने भी कहा कि उनकी पार्टी उद्धघाटन समारोह में भाग नहीं लेगी। जैसे ही संसद सदस्यों को आमंत्रण की ‘सॉफ्ट कॉपी’ मिलनी शुरू हुई, वे इस मुद्दे पर चर्चा करने लगे। विपक्षी सूत्रों ने संकेत दिया कि ज्यादातर दलों की राय है कि उन्हें एकजुट होकर समारोह से दूर रहना चाहिए, लेकिन इस मुद्दे पर अंतिम फैसला बुधवार को किया जाएगा।

कांग्रेस का आरोप – राष्ट्रपति मुर्मू को समारोह से दूर रखना आदिवासी समाज का अपमान

कांग्रेस प्रवक्ता गौरव वल्लभ ने आरोप लगाया कि सरकार ने इस समारोह से राष्ट्रपति मुर्मू को दूर रखकर उनका और पूरे आदिवासी समाज का अपमान किया है। उन्होंने कहा, ‘महामहिम राष्ट्रपति, जो एक सामान्य पृष्ठभूमि से उठकर यहां तक पहुंची हैं, उनका अपमान क्यों हो रहा है? क्या अपमान इसलिए हो रहा है कि वह आदिवासी समाज से आती हैं या फिर उनके राज्य (ओडिशा) में चुनाव नहीं है?’

यह पूछे जाने पर कि क्या कांग्रेस इस समारोह का बहिष्कार करेगी तो वल्लभ ने कहा, ‘उचित समय पर उचित फैसला किया जाएगा।’ कार्यक्रम के आमंत्रण कार्ड में कहा गया है कि समारोह दोपहर में शुरू होगा और आमंत्रितों लोगों से अनुरोध है कि वे पूर्वाह्न 11.30 बजे तक अपना स्थान ग्रहण कर लें।

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