1. Home
  2. हिन्दी
  3. राष्ट्रीय
  4. रेलवे का बड़ा कदम : बनारस लोकोमोटिव वर्क्स ने पटरियों के बीच लगाया देश का पहला रिमूवेबल सोलर पैनल सिस्टम
रेलवे का बड़ा कदम : बनारस लोकोमोटिव वर्क्स ने पटरियों के बीच लगाया देश का पहला रिमूवेबल सोलर पैनल सिस्टम

रेलवे का बड़ा कदम : बनारस लोकोमोटिव वर्क्स ने पटरियों के बीच लगाया देश का पहला रिमूवेबल सोलर पैनल सिस्टम

0
Social Share

नई दिल्ली, 18 अगस्त। भारतीय रेलवे ने हरित ऊर्जा और तकनीकी नवाचार की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। इस क्रम में वाराणसी स्थित बनारस लोकोमोटिव वर्क्स (BLW) ने रेल की पटरियों के बीच देश का पहला रिमूवेबल सोलर पैनल सिस्टम लगाया गया है।

70 मीटर लंबे सिस्टम में 28 पैनल, क्षमता 15 किलोवाट पीक

रेल मंत्रालय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर जानकारी देते हुए कहा, ‘भारतीय रेलवे का ऐतिहासिक कदम! बनारस लोकोमोटिव वर्क्स ने 70 मीटर लंबा रिमूवेबल सोलर पैनल सिस्टम लगाया है। इसमें 28 पैनल लगे हैं, जिनकी क्षमता 15 किलोवाट पीक (KWp) है। यह सतत और हरित रेल परिवहन की दिशा में अहम पहल है।’

रेलवे ने माल ढुलाई सेवाओं में भी किया विस्तार

रेलवे ने माल ढुलाई सेवाओं में भी विस्तार किया है। 10 अगस्त को भारतीय रेलवे ने पहली बार नमक से भरी मालगाड़ी चलाई। यह ट्रेन भुज-नलिया रेलखंड के सनोसरा स्टेशन से दहेज के लिए रवाना हुई। केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बीते रविवार को यह जानकारी दी। इस दौरान रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि यह नई लॉजिस्टिक सुविधा क्षेत्र के नमक उद्योग के लिए ‘नई संभावनाओं के द्वार’ खोलेगी।

पहली बार नमक से भरी मालगाड़ी चलाई गई

अहमदाबाद डिवीजन के रेलवे अधिकारी (DRM) ने बताया कि यह मालगाड़ी नौ अगस्त को 3,851.2 टन नमक से भरी गई थी। इसने 673.57 किमी की दूरी तय की और इससे लगभग 31.69 लाख रुपये की माल ढुलाई आय अर्जित करने की उम्मीद है। DRM ने इसे अहमदाबाद डिवीजन की उपलब्धि बताते हुए कहा कि यह कदम क्षेत्रीय उद्योग और भारत के लॉजिस्टिक नेटवर्क को मजबूत करेगा।

पश्चिम रेलवे ने शुरू किया किफायती इलेक्ट्रिक ट्रैक्शन सिस्टम

इसी बीच, पश्चिम रेलवे ने 12 अगस्त को देश का पहला 2×25 kV ताकतवर, और किफायती इलेक्ट्रिक ट्रैक्शन सिस्टम (वो तरीका जिससे रेलवे लाइन पर ट्रेन को चलाने के लिए बिजली पहुंचाई जाती है।) नागदा–खाचरौद सेक्शन (रतलाम डिवीजन) में सफलतापूर्वक शुरू किया।

इस प्रणाली में दो स्कॉट कनेक्टेड 100 MVA पॉवर ट्रांसफार्मर्स लगाए गए हैं, जो ओवरहेड इक्विपमेंट को कुशलतापूर्वक बिजली सप्लाई सुनिश्चित करेंगे। अधिकारियों ने बताया कि नागदा ट्रैक्शन सब-स्टेशन भारत का पहला स्टेशन है, जिसे स्कॉट कनेक्टेड तकनीकी (बड़े ट्रांसफॉर्मर होते हैं, जो स्टेशन से आने वाली 3-Phase बिजली को रेलवे की जरूरत के हिसाब से 2-Phase में बदलकर ओवरहेड तारों तक पहुंचाते हैं। जिससे ट्रेनें तेज और बिना रुकावट के चल पाती हैं) से चालू किया गया है। यह रेलवे विद्युतीकरण ढांचे को और मजबूत करने वाला कदम है।

Join our WhatsApp Channel

And stay informed with the latest news and updates.

Join Now
revoi whats app qr code