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पश्चिम बंगाल : ममता सरकार को झटका, चुनाव बाद हिंसा की सीबीआई जांच का हाई कोर्ट ने दिया आदेश

पश्चिम बंगाल : ममता सरकार को झटका, चुनाव बाद हिंसा की सीबीआई जांच का हाई कोर्ट ने दिया आदेश

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कोलकाता, 19 अगस्त। पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी की अगुआई वाली तृणमूल कांग्रेस सरकार को उस समय आघात लगा, जब गुरुवार को कलकत्ता उच्च न्यायालय ने राज्य में इसी वर्ष हुए विधानसभा चुनाव के बाद घटित हिंसक वारदातों की सीबीआई जांच का आदेश दे दिया।

एसआईटी के गठन का भी आदेश

उच्च न्यायालय ने हिंसा की सीबीआई जांच के अलावा एसआईटी के गठन का भी आदेश दिया है। इसमें पश्चिम बंगाल काडर के सीनियर अधिकारियों को भी शामिल किया जाएगा। ममता सरकार की ओर से हिंसा की घटनाओं की सीबीआई जांच का विरोध किया गया था। ऐसे में हाई कोर्ट का यह फैसला उसके लिए एक झटके की तरह माना जा रहा है।

जांच रिपोर्ट सौंपने के लिए सीबीआई को 6 हफ्ते का समय

गौरतलब है कि राज्य में चुनाव के बाद कई इलाकों में हिंसक घटनाएं हुई थीं। उस दौरान हत्या व  बलात्कार तक के मामले सामने आए थे। अब हाई कोर्ट ने कहा है कि सीबीआई और एसआईटी की जांच प्रक्रिया उच्च न्यायालय की ही निगरानी में होगी। हाई कोर्ट ने सीबीआई को छह सप्ताह के भीतर अपनी जांच रिपोर्ट सौंपने का भी आदेश दिया है।

हाई कोर्ट ने सरकार को एक्सपोज कर दिया विजयवर्गीय

इस बीच भाजपा के महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने हाई कोर्ट के आदेश के बाद टीएमसी सरकार पर हमला बोलते हुए कहा, ‘हम उच्च न्यालाय के आदेश का स्वागत करते हैं। पश्चिम बंगाल में चुनाव के बाद राज्य सरकार के संरक्षण में हिंसा हुई थी। उच्च न्यायालय के आदेश ने सरकार को एक्सपोज कर दिया है।’

केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने फैसले का स्वागत करते हुए कहा, ‘लोकतंत्र में हर किसी को अपनी विचारधारा को फैलाने का अधिकार है, लेकिन किसी को भी हिंसा की अनुमति नहीं है। लोकतंत्र में हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है।’

फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जा सकती है ममता सरकार

हालांकि टीएमसी ने हाई कोर्ट के फैसले पर नाखुशी जाहिर की है। टीएमसी नेता सौगत रॉय ने कहा, ‘मैं इस फैसले से नाखुश हूं। यदि राज्य के कानून-व्यवस्था के किसी भी मामले में सीबीआई जांच करने आती है तो फिर यह राज्य सरकार के अधिकार क्षेत्र में दखल होगा। मुझे भरोसा है कि राज्य सरकार स्थिति की समीक्षा करेगी और जरूरत होगी तो उच्चतम न्यायालय में इस आदेश को चुनौती देगी।’

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