यूपी ATS ने ISI एजेंट को गोरखपुर से दबोचा, हनी ट्रैप में फंसा राम सिंह लीक करता था नेवी की खुफिया जानकारी
गोरखपुर, 19 मई। यूपी एटीएस ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI के कथित एजेंट राम सिंह को गोरखपुर के पिपराइच थाना क्षेत्र स्थित उसके पैतृक गांव रमवापुर से रविवार को गिरफ्तार किया है। गोवा शिपयार्ड नेवल बेस में पार्ट टाइम वर्कर के तौर पर कार्यरत राम सिंह ने हनी ट्रैप में फंसकर भारतीय नौसेना के बारे में संवेदनशील सूचनाएं आईएसआई को दी थीं।
दरअसल, एटीएस को खुफिया स्रोतों से ऐसी सूचनाएं मिल रही थीं कि आईएसआई के एजेंट छद्म नामों से भारतीय नौसेना के कर्मचारियों तथा शिपयार्डों में काम करने वाले निजी व्यक्तियों के संपर्क में हैं। वे इन कर्मचारियों को बहला फुसला कर या धन का लालच देकर भारतीय नौसेना से संबंधित गोपनीय एवं संवेदनशील सूचनाएं व दस्तावेज प्राप्त करते रहे हैं। इसके लिए इन कर्मचारियों को विभिन्न माध्यमों से धन भेजा जा रहा है।
राम सिंह खुफिया स्रोतों की सूचनाओं के आधार पर ATS की निगाह में चढ़ा
इस सूचना को विकसित करने पर यह तथ्य प्रकाश में आया कि राम सिंह एक पाकिस्तानी महिला जासूस के संपर्क में है और पाकिस्तानी एजेंटों द्वारा राम सिंह के बैंक खाते में लगातार धन मुहैया कराया जा रहा है। इतना ही नहीं राम सिंह द्वारा पाकिस्तानी एजेंटों के लिए भारतीय नौसेना व सेना की गोपनीय सूचना देने वाले पाकिस्तानी एजेंटों के साथियों को धन उपलब्ध कराया गया है। एटीएस ने पहले राम सिंह को हिरासत में लेकर पूछताछ की। फिर रविवार को उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
3 वर्ष पहले हनी ट्रैप में फंसा था राम सिंह
राम सिंह ने पूछताछ में एटीएस को बताया कि वह लगभग तीन वर्ष से फेसबुक व ह्वाट्सएप के जरिए पाकिस्तानी महिला जासूस कीर्ति कुमारी (छद्म नाम) के संपर्क में था। कीर्ति कुमारी ने राम सिंह के बैंक खाते में काफी धनराशि जमा कराई है। जमा कराए गए रुपये को राम सिंह ने पाकिस्तानी एजेंट के कहने पर आईएसआई के लिए काम करने वाले एजेंटों के बैंक खातो में ट्रांसफर किया है। इस मामले में एटीएस ने अपने लखनऊ थाने में मुकदमा दर्ज कर अभियुक्त राम सिंह को गिरफ्तार किया है।
नौसेना के युद्धक जहाजों में इनसुलेशन लगाने का काम करता था
राम सिंह गोवा शिपयार्ड नेवल बेस में पार्ट टाइम वर्कर के तौर पर भारतीय नौसेना के युद्धक जहाजों में इनसुलेशन लगाने का काम करता था। शिपयार्ड में नेवी के बहुत सारे युद्धक जहाज जैसे आईएनएस विक्रमादित्य व आईएनएस विक्रांत आदि आते थे। उसने आईएसआई एजेंट को भारतीय नौसेना के युद्धक जहाजों की फोटो भी भेजी है।