रेप के आरोपित पूर्व केंद्रीय मंत्री चिन्मयानंद भगोड़ा घोषित , 11 साल में एक बार भी कोर्ट में पेश नहीं हुए
शाहजहांपुर, 17 दिसम्बर। पूर्व केंद्रीय मंत्री चिन्मयानंद को कोर्ट ने रेप के एक मामले में अदालत के सामने पेश नहीं होने पर भगोड़ा घोषित कर दिया है। चिन्मयानंद पर अपनी शिष्या के साथ रेप करने का आरोप है। इसी मुकदमे में शाहजहांपुर की एसीजेएम थर्ड की कोर्ट में पेश होना था। चिन्मयानंद कोर्ट में पेश नहीं हुए तो उनके खिलाफ अदालत ने सख्त ऐक्शन लिया है और उन्हें धारा 82 का प्रयोग करते हुए भगोड़ा अपराधी घोषित कर दिया है।
सरकारी वकील नीलिमा सक्सेना ने बताया, चिन्मयनंद के खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी होने के बावजूद वह अदालत में पेश नहीं हुआ। यहां तक कि पुलिस भी उसे अदालत में पेश करने में असमर्थ थी। वह अब एक घोषित भगोड़ा अपराधी है। इसके बाद थानों और चिन्मयानंद के मुमुक्षु आश्रम में उनकी फरारी का नोटिस चस्पा किया जाएगा। उन्होंने बताया कि मामले में सुनवाई की अगली तारीख 16 जनवरी दी गई है।
क्या था मामला
दरअसल, साल 2011 में चिन्मयानंद पर उनकी ही शिष्या ने रेप का आरोप लगाया था और उनके खिलाफ केस दर्ज कराया था। मामले की सुनवाई एसीजेएम थर्ड की कोर्ट में चल रही है लेकिन आरोपी चिन्मयानंद 11 सालों में एक बार भी कोर्ट में पेश नहीं हुए। जज ने इसे गंभीरता से लेते हुए चिन्मयानंद के खिलाफ धारा 82 के तहत काररवाई शुरू कर दी और उनके खिलाफ गैर-जमानती वारंट जारी कर दिया है।
इसके बाद क्या होगा
धारा 82 की काररवाई के बाद चिन्मयानंद के आश्रम और थानों में नोटिस चस्पा किया जाएगा। अगर फिर भी वह कोर्ट में पेश नहीं होते हैं तो उनके खिलाफ धारा 83 के तहत काररवाई की जाएगी और उनकी संपत्तियों को कुर्क किया जा सकता है।
बता दें कि चिन्मयानंद ने यह मुकदमा खत्म करने के लिए सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल की थी, लेकिन सर्वोच्च अदालत ने मामले में हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया। मामले में वादिनी ने भी चिन्मयानंद के पक्ष में बयान दिया था लेकिन कोर्ट ने फिर भी केस वापस करने से इनकार कर दिया था।