जी-20 समूह का विशेष सम्मेलन : पीएम मोदी का अफगानिस्तान में एक समावेशी प्रशासन का आह्वान
नई दिल्ली, 12 अक्टूबर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अफगानिस्तान में एक समावेशी प्रशासन का आह्वान किया है, जिसमें महिलाओं और अल्पसंख्यक समुदाय का प्रतिनिधित्व हो। वह अफगानिस्तान में आतंकवाद से संबंधित चिंताओं, मानवीय स्थिति और मानवाधिकार जैसे अहम मुद्दों को लेकर मंगलवार को जी-20 समूह के विशेष शिखर सम्मेलन को संबोधित कर रहे थे।
पीएम मोदी ने जी-20 समूह के मौजूदा अध्यक्ष इटली की ओर से आहूत इस वर्चुअल समिट में कहा कि पिछले 20 वर्षों के सामाजिक व आर्थिक लाभ को संरक्षित करने और कट्टरपंथी विचारधारा के प्रसार को प्रतिबंधित करने के लिए अफगानिस्तान में ऐसे समावेशी प्रशासन की आवश्यकता है, जिसमें जिसमें महिलाएं और अल्पसंख्यक भी शामिल हों।
एकीकृत प्रयास से ही अफगानिस्तान की स्थिति में वांछित परिवर्तन संभव
प्रधानमंत्री ने अफगानिस्तान में संयुक्त राष्ट्र की महत्वपूर्ण भूमिका के लिए समर्थन व्यक्त किया और अफगानिस्तान पर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) के प्रस्ताव 2593 में निहित संदेश के लिए जी-20 के नए समर्थन का आह्वान किया। पीएम मोदी ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से एक एकीकृत अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया बनाने का आह्वान किया, जिसके बिना अफगानिस्तान की स्थिति में वांछित परिवर्तन लाना मुश्किल होगा।
भारत की ओर से अफगानिस्तान में 500 से अधिक विकास परियोजनाएं लागू
पीएम मोदी ने भारत और अफगानिस्तान के बीच सदियों पुराने लोगों से लोगों के बीच संबंधों पर जोर दिया। उन्होंने उल्लेख किया कि पिछले दो दशकों के दौरान भारत ने अफगानिस्तान में युवाओं और महिलाओं के सामाजिक-आर्थिक विकास और क्षमता निर्माण को बढ़ावा देने में योगदान दिया है। उन्होंने याद दिलाया कि भारत की ओर से अफगानिस्तान में 500 से अधिक विकास परियोजनाओं को लागू किया गया है।
अफगानिस्तान को मानवीय सहायता के लिए तत्काल और निर्बाध पहुंच की जरूरत
प्रधानमंत्री ने कहा कि अफगान लोगों के मन में भारत के प्रति मैत्री की भावना है। उन्होंने कहा कि हर भारतीय भूख और कुपोषण का सामना कर रहे अफगान लोगों का दर्द महसूस करता है। उन्होंने यह सुनिश्चित करने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय की आवश्यकता पर जोर दिया कि अफगानिस्तान को मानवीय सहायता के लिए तत्काल और निर्बाध पहुंच प्राप्त हो।
क्षेत्रीय या वैश्विक स्तर पर कट्टरपंथ और आतंकवाद का स्रोत न बने अफगानिस्तान
पीएम मोदी ने यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता को भी रेखांकित किया कि अफगान क्षेत्र क्षेत्रीय या वैश्विक स्तर पर कट्टरपंथ और आतंकवाद का स्रोत नहीं बने। उन्होंने इस क्षेत्र में कट्टरपंथ, आतंकवाद और नशीले पदार्थों और हथियारों की तस्करी की गठजोड़ के खिलाफ जी-20 समूह की संयुक्त लड़ाई को बढ़ाने की आवश्यकता पर भी जोर दिया।