Quess Corp की रिपोर्ट : आईटी सेक्टर में नौकरियों की भरमार, 2025 में कुल मांग 18 लाख के पार पहुंची
नई दिल्ली, 23 दिसम्बर। भारत में सूचना प्रौद्योगिकी (IT) क्षेत्र में हायरिंग तेजी से बढ़ रही है और इसमें ग्लोबल कैपेबिलिटी सेंटर्स (GCC) और उभरती हुई टेक्नोलॉजी के लिए प्रतिभाओं की मांग में जबर्दस्त बढ़ोतरी देखी जा रही है। भारत की अग्रणी स्टाफिंग कम्पनी और निजी क्षेत्र के सबसे बड़े नियोक्ताओं में से एक Quess Corp ने एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी है।
50% से ज्यादा आईटी हायरिंग उभरती हुई डिजिटल क्षमताओं पर केंद्रित
क्वेस कॉर्प की रिपोर्ट में बताया गया कि भारत में आईटी नौकरियों की कुल मांग 2025 में बढ़कर 18 लाख पर पहुंच गई है और इसमें पिछले वर्ष के मुकाबले 16 प्रतिशत की बढ़त देखी गई है। रिपोर्ट में एक नए ट्रेंड का खुलासा करते हुए कहा गया कि 50 प्रतिशत से ज्यादा आईटी हायरिंग उभरती हुई डिजिटल क्षमताओं पर केंद्रित हैं और पारंपरिक टेक स्किल्स की हिस्सेदारी कुल मांग में 10 प्रतिशत से भी कम है और इसमें लगातार गिरावट देखी जा रही है। जीसीसी से लगातार आईटी क्षेत्र में हायरिंग को बढ़ावा मिल रहा है और आईटी हायरिंग मार्केट में जीसीसी की हिस्सेदारी 27 प्रतिशत की हो गई है, जो कि पिछले वर्ष करीब 15 प्रतिशत थी।
प्रोडक्ट और एसएएएस फर्मों ने भी चुनिंदा रूप से भर्तियां बढ़ाईं
रिपोर्ट के अनुसार प्रोडक्ट और एसएएएस फर्मों ने भी चुनिंदा रूप से भर्तियां बढ़ाई हैं, जबकि आईटी सेवाओं और कंसल्टिंग में मामूली वृद्धि दर्ज की गई। हालांकि, फंडिंग में कमी के चलते स्टार्टअप्स में भर्तियां घटकर एकल अंकों के निम्न स्तर पर आ गई हैं। रिपोर्ट में कहा गया, ‘कुल मिलाकर, हायरिंग डिमांड उत्पादकता के लिए तैयार प्रतिभाओं की ओर दृढ़ता से झुकी रही, जिसमें मध्य-करियर पेशेवर (4-10 वर्ष का अनुभव) कुल भर्ती का 65 प्रतिशत हिस्सा बनाते हैं जबकि 2024 में यह 50 प्रतिशत था।’
आईटी हायरिंग ज्यादातर टियर-1 शहरों पर केंद्रित
रिपोर्ट में बताया गया कि एंट्री-स्तर की हायरिंग की कुल मांग में 15 प्रतिशत हिस्सेदारी है। हायरिंग पैटर्न दिखाता है कि अनुभवी पेशेवरों की मांग पूरे सेक्टर में सबसे अधिक है। आईटी हायरिंग ज्यादातर टियर-1 शहरों पर केंद्रित हैं और 2025 में कुल मांग में इनकी हिस्सेदारी 88-90 प्रतिशत है। इसके अलावा, भर्ती प्रक्रिया में लगने वाला औसत समय बढ़कर 45-60 दिन हो गया है।
वहीं, एआई/एमएल और साइबर सुरक्षा जैसी विशिष्ट विशेषज्ञताओं के लिए, भर्ती प्रक्रिया में लगने वाला समय बढ़कर 75-90 दिन हो गया, जो कड़ी प्रतिस्पर्धा और अधिक कठोर मूल्यांकन प्रक्रियाओं को दर्शाता है।
