वाशिंगटन, 23 मई। भारत के पूर्व शीर्ष राजनयिक हर्षवर्धन श्रृंगला ने बुधवार को कहा कि भारत को स्पष्ट और सतत नेतृत्व के लिए जनादेश की आवश्यकता है जो भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए अनेक निर्णय ले सके। श्रृंगला ने कहा कि अमेरिका में भी उन्हें ऐसा लगा कि प्रशासन भारत में स्पष्ट जनादेश देखना चाहता है जो देश को एक मजबूत आर्थिक शक्ति बना सके।
श्रृंगला ने बातचीत में कहा,‘‘ हमें जिस चीज की जरूरत है वह है स्पष्ट और सतत नेतृत्व के लिए जनादेश की जो 2047 तक भारत को विकसित भारत के मंच तक ले जाने में सक्षम निर्णय ले सके।’’ पूर्व विदेश सचिव एवं अमेरिका में भारतीय राजनयिक श्रृंगला इस समय निजी यात्रा पर हैं।
उन्होंने कहा,‘‘ देश में युवाओं की बड़ी संख्या हैं। उम्मीद है कि वे नेतृत्व के लिए जनादेश देंगे जो उन्हें सर्वश्रेष्ठ अवसर मुहैया कराएगा और हमें एक ऐसी स्थिति में ले जाएगा जहां हमने हर पहलू में विकसित देश बनने के बारे में सपने में भी नहीं सोचा हो फिर चाहे वह वह महिला सशक्तीकरण हो, आर्थिक, सामाजिक-आर्थिक या पर्यावरणीय विकास के बारे में हो।’’
श्रृंगला ने अपनी यात्रा के दौरान डेमोक्रेट और रिपब्लिकन दोनों दलों के अनेक नेताओं तथा कारोबरियों, शिक्षाविदों और समुदाय के लोगों के साथ भी मुलाकात की। एक प्रश्न के उत्तर में उन्होंने कहा,‘‘ तो जितने वक्त के लिए मैं यहां था उतने कम वक्त में मुझे यह समझ में आया कि संबंधों को लेकर काफी आशावादी दृष्टिकोण है।’’
उन्होंने कहा,‘‘ अमेरिका में मुझे प्रशासन के लोगों से भी ऐसे आभास हुआ कि वे निश्चित रूप से एक स्पष्ट जनादेश देखना चाहते हैं जो न केवल भारत को एक मजबूत आर्थिक शक्ति बनाए बल्कि वैश्विक स्तर पर भी योगदान दे।’’ श्रृंगला ने कहा,‘‘ अमेरिका बेहद करीबी साझेदार देश है और मेरा मानना है कि भारत के विकास से अमेरिका को भी लाभ होगा।’’