डीके शिवकुमार ने समाचार चैनलों के खिलाफ मानहानि के केस की धमकी दी, इस्तीफे की झूठी खबर चलाने पर नाराज
नई दिल्ली, 16 मई। कर्नाटक विधानसभा चुनाव का परिणाम घोषित हुए तीन दिन बीत चुके हैं और प्रचंड बहुमत से जीत करने वाली कांग्रेस की नई सरकार का गठन 18 मई को होना है। लेकिन राज्य का मुख्यमंत्री कौन होगा, इसकी कवायद में यहां कांग्रेस मुख्यालय पर गहमागहमी बढ़ती जा रही है।
मुख्यमंत्री पद को दोनों प्रमुख दावेदार – पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया और कर्नाटक प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डीके शिवकुमार राष्ट्रीय राजधानी में मौजूद हैं और उन्होंने पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे सहित शीर्ष नेताओं से मुलाकात भी की। अब कांग्रेस नेतृत्व का आशीर्वाद सिद्धारमैया या शिवकुमार में से किसे मिलेगा, इसे लेकर कयासबाजियों का दौर जारी है।
सिद्धारमैया को राहुल का साथ, शिवकुमार के सोनिया से अच्छे संबंध!
सूत्रों की मानें तो दोनों नेताओं को चुनने को लेकर पार्टी के शीर्ष नेताओं के मत भी अलग-अलग हैं। बताया जा रहा है कि राहुल गांधी और केसी वेणुगोपाल ने सिद्धारमैया का समर्थन किया है तो वहीं पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे किसी भी एक निर्णय पर नहीं पहुंचे हैं। उधर डीके शिवकुमार के साथ सोनिया गांधी के अच्छे संबंध हैं तो अधिकतर विधायक सिद्धारमैया के साथ माने जा रहे हैं। रणदीप सुरजेवाला भी दोनों ही नेताओं को लेकर न्यूट्रल हैं। कहा जा रहा कि बुधवार को इस बाबत अंतिम निर्णय हो जाएगा।
कुछ समाचार चैनलों ने शिवकुमार के इस्तीफे की खबर प्रसारित कर दी
फिलहाल तमाम अटकलों के बीच कुछ समाचार चैनलों ने मंगलवार को ये प्रसारित कर दिया कि कर्नाटक कांग्रेस के अध्यक्ष डीके शिवकुमार ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। इन खबरों पर नाराजगी जताते हुए डीके शिवकुमार ने कहा कि वह उन मीडिया चैनलों के खिलाफ मानहानि का मामला दायर करेंगे, जो उनके इस्तीफे के बारे में झूठे दावे कर रहे हैं।
शिवकुमार ने संवाददाताओं से कहा, ‘अगर कोई चैनल रिपोर्ट कर रहा है कि मैं पद से इस्तीफा दे रहा हूं, तो मैं उनके खिलाफ मानहानि का मुकदमा दायर करूंगा। पार्टी मेरी मां है। मैंने इस पार्टी को खड़ा किया है।’
मुख्यमंत्री पद को सिद्धरमैया के साथ बांटने से किया इनकार
इसके पूर्व दिन में शिवकुमार दिल्ली पहुंचे। उन्होंने सोमवार की शाम स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए अंतिम समय में अपनी दिल्ली यात्रा रद कर दी थी। दिल्ली आने से पहले शिकुमार ने एक इंटरव्यू में कहा कि मुख्यमंत्री पद को सिद्धरमैया के साथ बांटने का कोई सवाल ही नहीं है। यह पूछे जाने पर क्या आप सिद्धारमैया के साथ पोस्ट साझा करने के लिए सहमत होंगे? शिवकुमार ने कहा, ‘यह साझा की जाने वाली संपत्ति नहीं है जैसे भाई-बहन पैतृक संपत्ति साझा करते हैं। सरकार बनाने का सवाल है। शेयरिंग नहीं हो सकती।’
कांग्रेस अध्यक्ष खड़गे ने कर्नाटक में कांग्रेस विधायक दल (सीएलपी) का नेता चुनने के लिए वरिष्ठ नेता सुशील कुमार शिंदे, जितेंद्र सिंह और दीपक बाबरिया को पर्यवेक्षक नियुक्त किया था। तीनों पर्यवेक्षकों ने पार्टी के नवनिर्वाचित विधायकों से अलग-अलग बात कर उनकी राय जानी थी।