1. Home
  2. हिन्दी
  3. राजनीति
  4. जम्मू-कश्मीर से जुड़े दोनों महत्वपूर्ण विधेयक राज्यसभा से पारित, नाराज विपक्ष का सदन से वॉकआउट
जम्मू-कश्मीर से जुड़े दोनों महत्वपूर्ण विधेयक राज्यसभा से पारित, नाराज विपक्ष का सदन से वॉकआउट

जम्मू-कश्मीर से जुड़े दोनों महत्वपूर्ण विधेयक राज्यसभा से पारित, नाराज विपक्ष का सदन से वॉकआउट

0
Social Share

नई दिल्ली, 11 दिसम्बर। राज्यसभा ने सोमवार को जम्मू-कश्मीर से जुड़े दो अहम विधेयकों को मंजूरी प्रदान कर दी, जिनमें अनुसूचित जाति एवं जनजाति तथा अन्य सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़े वर्गों के लोगों को नौकरियों में आरक्षण के साथ ही विधानसभा सीटों की संख्या में वृद्धि के प्रावधान हैं।

उच्च सदन ने ‘जम्मू कश्मीर आरक्षण (संशोधन) विधेयक, 2023’ और ‘जम्मू कश्मीर पुनर्गठन (संशोधन) विधेयक, 2023’ को चर्चा के बाद ध्वनिमत से मंजूरी प्रदान कर दी। दोनों विधेयकों पर एक साथ चर्चा हुई। लोकसभा इन विधेयकों को पहले ही पारित कर चुकी है। फिलहाल गृह मंत्री अमित शाह के जवाब से अंसुष्ट विपक्ष के कई सदस्यों ने सदन से बहिर्गमन किया।

गृह मंत्री शाह ने अपने जवाब में कहा, ‘संविधान के अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के केंद्र के निर्णय पर उच्चतम न्यायालय का फैसला विपक्षी दलों की बड़ी हार है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के कब्जे वाला कश्मीर (पीओके) भारत का है और उसे हमसे कोई छीन नहीं सकता।’

उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 के संबंध में केंद्र के निर्णय पर उच्चतम न्यायालय का फैसला विपक्षी दलों की बड़ी हार है और जो लोग कहते हैं कि अनुच्छेद 370 ‘स्थायी’ है, वे संविधान और संविधान सभा का अपमान कर रहे हैं।

शाह ने कहा कि अनुच्छेद 370 के प्रावधानों को निरस्त किए जाने के निर्णय को उच्चतम न्यायालय द्वारा बरकरार रखे जाने के बाद जम्मू-कश्मीर के संविधान की कोई वैधता नहीं रह गई है। उनके जवाब के बाद सदन ने दोनों विधेयकों को मंजूरी प्रदान कर दी।

उच्च सदन से पारित हुए ये दोनों विधेयक

जम्मू-कश्मीर आरक्षण (संशोधन) विधेयक, जम्मू-कश्मीर आरक्षण अधिनियम 2004 में संशोधन करता है। यह अनुसूचित जाति और जनजाति तथा अन्य सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़े वर्गों के लोगों को नौकरियों और व्यावसायिक संस्थानों में आरक्षण प्रदान करता है।

वहीं, जम्मू कश्मीर पुनर्गठन (संशोधन) विधेयक, जम्मू कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम 2019 में संशोधन करता है। प्रस्तावित विधेयक से विधानसभा सीटों की कुल संख्या बढ़कर 83 से बढ़कर 90 हो जाएगी। इसमें अनुसूचित जाति के लिए 7 सीट और अनुसूचित जनजाति के लिए 9 सीट आरक्षित हैं। साथ ही उपराज्यपाल कश्मीरी प्रवासी समुदाय से एक महिला सहित दो सदस्यों को विधानसभा में नामांकित कर सकते हैं।

LEAVE YOUR COMMENT

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Join our WhatsApp Channel

And stay informed with the latest news and updates.

Join Now
revoi whats app qr code