बिहार : पटना के पारस अस्पताल में कैदी चंदन मिश्रा की गोली मारकर हत्या, CCTV में कैद 5 शूटर
पटना, 17 जुलाई। बिहार की राजधानी पटना स्थित सबसे बड़े निजी अस्पताल में आज पूर्वाहन गैंगवार की घटना सामने आई, जब पांच बेखौफ अपराधियों ने शास्त्री नगर थाना क्षेत्र के पारस अस्पताल में घुसकर कैदी चंदन मिश्रा को गोलियों से भून डाला। बक्सर का रहने वाला चंदन बेऊर जेल से पैरोल पर इलाज कराने अस्पताल आया था।
पटना पुलिस को खुली चुनौती दे रहे अपराधी
देखा जाए तो पटना के पॉश इलाके के इतने बड़े अस्पताल में अपराधियों के घुसकर फायरिंग मामले ने कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। अस्पताल परिसर में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर भी सवाल उठ रहे हैं। इससे पहले भी अपराधियों ने बड़े कारोबारी गोपाल खेमका समेत कई लोगों की राजधानी में हत्या कर पुलिस को खुली चुनौती दी है।

शूटर पिस्टल लेकर वार्ड नंबर 209 में घुसे
घटना का जो CCTV फुटेज सामने आया है, उसमें साफ दिख रहा है कि जिस 209 नंबर वार्ड में चंदन मिश्रा इलाजरत था, उसमें पांच अपराधी अंदर दाखिल होते हैं। इनमें से चार के सिर पर टोपी है। एक-एक कर अपराधी 209 नंबर वार्ड (कमरा) में दाखिल होते हैं। सभी के पास पिस्टल थी। वे पिस्टल निकालते हैं और अंदर घुस जाते हैं। इसके बाद दनादन फायरिंग करने लगते हैं। अब तक की जानकारी के अनुसार चंदन मिश्रा को पांच गोलियां लगीं और उसकी तत्काल मौत हो गई।
चंदन के आस-पास नहीं था कोई सुरक्षाकर्मी
दिलचस्प तो यह है कि जब अपराधी अंदर दनादन फायरिंग कर रहे थे तो बाहर लॉबी में एकदम सन्नाटा पसरा हुआ था। कैदी के साथ वहीं कोई पुलिस वाला या सुरक्षा कर्मी नहीं था। हालांकि आवाज सुनकर बगल के वार्ड में मौजूद लोग बाहर निकले। लेकिन बाहर का नजारा देखा तो सहमकर अंदर चले गए।

घटना को लेकर पुलिस पर सवाल उठ रहे हैं कि जब चंदन मिश्रा बेऊर जेल का अपराधी था तो उसकी सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मी कहां थे? क्या पुलिस को गैंगवार की आशंका नहीं थी क्योंकि चंदन भी कुख्यात अपराधी था। हालांकि इस हत्याकांड के बाद पटना पुलिस एक्शन में आ गई है। एसएसपी कार्तिकेय के शर्मा ने कहा कि अपराधियों को जल्द ही दबोच लिया जाएगा। वैसे दिनदहाड़े हुए इस हत्याकांड ने पुलिस की नींद जरूर हराम कर दी है।
चंदन भी कुख्यात अपराधी था, उसपर हत्या के 10 से अधिक मुकदमे
वर्तमान में बतौर बिल्डर का काम कर रहा चंदन मिश्रा खुद कुख्यात अपराधी था। उसके ऊपर लगभग 10 से अधिक हत्या के मामले दर्ज हैं। 2024 से वह पटना के जेल में बंद था। तबीयत खराब होने के बाद वह पैरोल पर बाहर निकाला था।
