आइए, हम अधिक सक्षम और पूर्ण आत्मनिर्भर वायुसेना की दिशा में प्रयास जारी रखें : वायुसेना प्रमुख अमरप्रीत सिंह
चेन्नई, 8 अक्टूबर। वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल अमरप्रीत सिंह ने मंगलवार को भारतीय वायुसेना (IAF) से वर्तमान और भविष्य की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए इसे पुनः संगठित करने का आह्वान करते हुए कहा कि वैश्विक सुरक्षा का माहौल लगातार बदल रहा है।
एयर चीफ मार्शल अमरप्रीत सिंह ने कहा, ‘मौजूदा संघर्षों ने एक मजबूत और सक्षम वायुसेना की आवश्यकता को दर्शाया है। इसलिए, भारतीय वायुसेना को हमारे राष्ट्रीय हितों को चुनौती देने वाली किसी भी आकस्मिक स्थिति से निबटने के लिए तैयार रहने की आवश्यकता है।’
भारतीय वायुसेना के 92वें वार्षिक दिवस समारोह के अवसर पर यहां के निकट ताम्बरम स्थित वायुसेना स्टेशन पर परेड की समीक्षा करने के बाद अमरप्रीत सिंह ने कहा, ‘नवोन्मेष और लीक से हटकर सोच के साथ नवीनतम प्रौद्योगिकी को अपनाना, आज के बहु-क्षेत्रीय वातावरण में निर्णायक भूमिका निभाएंगे।’
अमरप्रीत सिंह ने कहा कि पिछले वर्ष वायुसेना ने परिचालन की क्षमताओं को मजबूत करने, अपने पेशेवर रुख को बढ़ाने में उल्लेखनीय प्रगति की और निरंतर विकसित होते चुनौतीपूर्ण आधुनिक युद्ध को लेकर खुद को उसके अनुकूल ढालने का प्रयास किया। उन्होंने कहा कि वायुसेना दिवस पूर्व और वर्तमान के वायुसेना योद्धओं के ‘साहस’ और ‘शौर्य’ को सम्मान देने, अपना जीवन बलिदान करने वालों को श्रद्धांजलि देने का अवसर है।
सिंह ने कहा, ‘हम राष्ट्र की सेवा के लिए खुद को एक बार फिर समर्पित करते हैं। हमें पिछले वर्षों का आत्म अवलोकन भी करना चाहिए। अपनी उपलब्धियों का जश्न मनाना चाहिए, उन क्षेत्रों की पहचान करनी चाहिए जहां हम कम पड़ गए। हमें उनसे सबक सीखना चाहिए और वर्तमान तथा भविष्य की आवश्यकताओं के अनुरूप खुद को तैयार करना चाहिए।’
उन्होंने कहा, ‘वैश्विक सुरक्षा का माहौल लगातार बदल रहा है। मौजूदा संघर्ष एक मजबूत एवं सक्षम वायुसेना की आवश्यकता को दर्शाते हैं। इसलिए वायु सेना को हमारे राष्ट्रीय हितों को चुनौती देने वाली किसी भी आकस्मिक स्थिति से निपटने के लिए तैयार रहने की आवश्यकता है।’ इस साल के वार्षिक दिवस की थीम – ‘भारतीय वायु सेना : सक्षम, सशक्त, आत्मनिर्भर’ का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, ‘यह हमारी आकांक्षाओं का सटीक वर्णन करता है।’
उन्होंने कहा, ‘पिछले कुछ वर्षों में हम बेहतर प्रौद्योगिकी के साथ अधिक सशक्त हुए हैं और अपनी प्रणाली एवं हथियारों के परिचालन उपयोग के नए स्तर हासिल किए हैं।’ उन्होंने कहा कि पिछला साल काफी व्यस्तता भरा था और वायुसेना ने विभिन्न मोर्चों पर अपनी क्षमता साबित की।