असम में शीघ्र ही 17 ‘एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय’ का होगा निर्माण : हिमंत बिस्वा सरमा
असम , 14अक्टूबर। मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा है कि असम में शीघ्र ही 17 ‘एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय’ का निर्माण कराया जाएगा। सीएम बिस्वा ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स के जरिए यह जानकारी देते हुए कहा कि मैं आपको हमारे शिक्षा क्षेत्र के लिए एक अच्छी खबर के बारे में सूचित करना चाहता हूं।
भारत सरकार के जनजातीय मामलों के मंत्रालय के तहत, असम में कुल 17 ‘एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय’ का निर्माण जल्द ही कराया जाएगा। 50 फीसदी से अधिक अनुसूचित जनजाति आबादी वाले ब्लॉकों को इस स्कूल की स्थापना के लिए चुना गया है।
उन्होंने कहा, “चयनित स्थानों में दलबाड़ी (बक्सा), खारधारा (बरपेटा), हावराघाट (कार्बी आंगलोंग), बेदलांगमारी (कोकराझाड़), अरदाओपुर (दीमा हसाओ), जालाह (बाक्सा), जोनाई (धेमाजी), उमरांगसो (डिमा हसाओ), फुलनी (कार्बी आंगलोंग), चिलनिजान (कार्बी आंगलोंग) तथा दुधनई (कार्बी आंगलोंग) शामिल हैं।”
दरअसल जनजातीय कार्य मंत्रालय जनजातीय बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय की केंद्रीय क्षेत्र योजना को लागू कर रहा है। पहले ईएमआरएस संविधान के अनुच्छेद 275(1) के तहत एक घटक था।
नई योजना के तहत सरकार ने 50% से अधिक एसटी आबादी और कम से कम 20,000 आदिवासी व्यक्तियों (2011 की जनगणना के अनुसार) वाले हर ब्लॉक में एक ईएमआरएस स्थापित करने का फैसला किया। तदनुसार मंत्रालय ने वर्ष 2026 तक देश भर में 728 ईएमआरएस स्थापित करने का लक्ष्य रखा है।
जनजातीय कार्य मंत्रालय के एक बयान के मुताबिक एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय की योजना दूरस्थ क्षेत्रों में अनुसूचित जनजाति (एसटी) समुदाय के विद्यार्थियों (कक्षा 6ठी से 12वीं) को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए केंद्रीय क्षेत्र की योजना के रूप में लागू की जा रही है ताकि उन्हें शिक्षा के सर्वोत्तम अवसरों तक पहुँचने में सक्षम बनाया जा सके और उन्हें आम जनता के बराबर लाया जा सके।
एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय योजना के अंतर्गत स्कूलों को चलाने के लिए और विद्यार्थियों के खर्च (वर्दी, किताबें और स्टेशनरी, भोजन आदि) के लिए प्रति विद्यार्थी प्रति वर्ष आवर्ती लागत 1.09 लाख रुपये का भुगतान किया जाता है। वर्तमान में, देश भर में कुल 708 एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय (ईएमआरएस) स्वीकृत किए गए हैं, जिनमें से 405 विद्यालयों के कार्यान्वित होने की सूचना है।