महाराष्ट्र के सीएम शिंदे बोले – ‘हम विकास कार्यों के जरिए मना रहे अपनी सरकार की पहली सालगिरह’
मुंबई, 30 जून। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने शुक्रवार को अपनी सरकार के एक साल पूरे होने के अवसर पर कहा, ‘हम सरकार बनने की पहली सालगिरह विकास कार्यों के जरिए मना रहे हैं।’ पश्चिमी महाराष्ट्र के सातारा जिले के पाटन में 122.59 करोड़ रुपये की विकास योजनाओं के शिलान्यास कार्यक्रम में ऑनलाइन शामिल हुए शिंदे ने यह बात कही।
‘शिवसेना-भाजपा गठबंधन सरकार तो चुनाव के तुरंत बाद बननी चाहिए थी’
सीएम शिंदे ने अपनी एक वर्ष पुरानी सरकार की उपलब्धियां गिनाते हए कहा कि उनकी सरकार ने स्वास्थ्य योजना के तहत बीमा कवर 1.5 लाख रुपये से बढ़ाकर पांच लाख रुपये करने और किसानों को सालाना छह हजार रुपये वित्तीय मदद देने सहित कई जन कल्याणकारी फैसले लिए हैं। उन्होंने कहा कि शिवसेना-भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) गठबंधन सरकार नवम्बर, 2019 के चुनाव के तुरंत बाद बन जानी चाहिए थी, लेकिन 50 विधायकों और 13 सांसदों ने इसे करीब ढाई साल बाद संभव बनाया।
युती सरकारच्या यशस्वी वर्षपूर्तीनिमित्त आयोजित कार्यक्रमातून लाईव्ह | ठाणे https://t.co/I7ARg3sHwK
— Eknath Shinde – एकनाथ शिंदे (@mieknathshinde) June 30, 2023
शिंदे एकीकृत शिवसेना के कुछ विधायकों के विद्रोह का संदर्भ दे रहे थे, जिसके बाद महाविकास आघाडी (एमवीए) सरकार का पतन हुआ और 30 जून, 2022 को भाजपा के समर्थन से उनके मुख्यमंत्री बनने का रास्ता साफ हुआ। इस कार्यक्रम में शिंदे के गृह जिले में 126 गांवों के लिए 86 विकास परियोजनाओं की शुरुआत की गई।
‘हमारी सरकार विकास और लोगों के कल्याण पर केंद्रित रहेगी‘
शिवसेना नेता ने कहा कि उनकी सरकार विकास और लोगों के कल्याण पर केंद्रित रहेगी। उन्होंने कहा, “हम लोगों के कल्याण के लिए फैसले ले रहे हैं, जिनमें ‘नमो शेतकारी महासम्मान निधि योजना’ के तहत राज्य सरकार द्वारा किसानों को सालाना 6,000 रुपये देने का फैसला शामिल है। इस प्रकार अब किसानों को हर साल 12,000 रुपये मिलेंगे क्योंकि केंद्र द्वारा प्रधानंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत भी सालाना 6,000 रुपये दिए जा रहे हैं।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि इसी प्रकार राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी स्वास्थ्य बीमा योजना ‘महात्मा ज्योतिराव फुले जन आरोग्य योजना’ के तहत प्रदेश के 12.5 करोड़ लोग पांच लाख रुपये तक का मुफ्त इलाज करा सकेंगे। राज्य सरकार ने महज एक साल में 32 सिंचाई परियोजनाओं को मंजूरी दी है, जिनपर अमल होने के बाद छह लाख हेक्टेयर भूमि की सिंचाई संभव होगी।