उमेश पाल हत्याकांड : अतीक अहमद के दोनों नाबालिग बेटे गायब? पत्नी शाइस्ता की अर्जी पर कोर्ट ने मांगी स्पष्ट आख्या
प्रयागराज, 2 मार्च। प्रयागराज में बीते दिनों उमेश पाल की दिनदहाड़े हुई हत्या के बाद से पूर्व सांसद व माफिया अतीक अहमद के दोनों नाबालिग बेटे गायब हैं। अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता परवीन का आरोप है कि 24 फरवरी को हत्याकांड के ठीक बाद पुलिस ने उनके घर दबिश दी और दोनों बेटों को अपने साथ उठा ले गई। बेटों के बारे में पुलिस ने जब कोई जानकारी नहीं दी तो शाइस्ता ने कोर्ट में गुहार लगाई। कोर्ट ने शाइस्ता परवीन की अर्जी पर पुलिस से रिपोर्ट मांगी। गुरुवार को पुलिस ने अपनी रिपोर्ट कोर्ट भेज दी।
बताया जाता है कि थाने से एक सिपाही ने कोर्ट में आख्या भेजी है। लेकिन आख्या स्पष्ट नहीं होने की बात कही जा रही है। इस पर न्यायालय ने इंस्पेक्टर धूमनगंज को इस मामले में स्पष्ट आख्या देने का आदेश दिया है और पत्रावली पेश करने को कहा है। सुनवाई के लिए शुक्रवार की तारीख लगाई गई है। वहीं, अतीक अहमद के भाई अशरफ की पत्नी और उनके बेटे के संबंध में दी गई अर्जी पर भी आख्या तलब की गई है। उस पर भी सुनवाई शुक्रवार को ही होगी।
गौरतलब है कि प्रयागराज में गत 24 फरवरी को उमेश पाल और उसके एक सुरक्षाकर्मी की गोली और बम मारकर हत्या कर दी गई थी। गंभीर रूप से घायल दूसरे सुरक्षाकर्मी की बुधवार को इलाज के दौरान मौत हो गई। मामले में पुलिस ने अतीक अहमद उसकी पत्नी शाइस्ता, दोनों बेटों के साथ ही कई करीबियों को नामजद किया है।
अतीक की पत्नी शाइस्ता ने बेटों के बारे में जानकारी हासिल करने के लिए मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट दिनेश कुमार गौतम की अदालत में अर्जी भी दाखिल की थी। अर्जी में कहा कि उनके पति, बेटों और देवर के साथ ही उन्हें भी हत्याकांड में धूमनगंज थाने में नामजद किया गया है। हत्याकांड वाले दिन 24 फरवरी, 2023 को उसके नाबालिग बेटों को ऐजम अहमद व अबान अहमद को धूमनगंज की पुलिस घर से शाम 6 बजे गैरकानूनी तरीके से उठा ले गई है। दोनों बेटों का आज तक पता नहीं चल पा रहा है। न ही थाना धूमनगंज की पुलिस द्वारा कोई जानकारी दी जा रही है।
शाइस्ता ने गुहार लगाई कि गैरकानूनी काररवाई पर पुलिस से रिपोर्ट मांगी जाए। अगर वे किसी मामले में वांछित हैं तो उसका ब्योरा भी मांगा जाए। शाइस्ता की अर्जी पर कोर्ट ने धूमनगंज थाने से इस पर दो मार्च को रिपोर्ट देने को कहा था। गुरुवार को पुलिस की तरफ से रिपोर्ट तो आई, लेकिन वह स्पष्ट नहीं थी। कहा जा रहा है कि रिपोर्ट एक सिपाही की तरफ से भेजी गई थी। इस पर अदालत ने घूमनगंज थाने के इंस्पेक्टर से स्पष्ट रिपोर्ट भेजने को कहा है। मामले की सुनवाई के लिए तीन मार्च की तारीख तय की है।