शरद पवार का एलान – ‘2024 का लोकसभा चुनाव नहीं लड़ूंगा, पीएम बनने की रेस में भी नहीं हूं’
नई दिल्ली, 22 मई। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के अध्यक्ष शरद पवार ने सोमवार को घोषणा की कि वह 2024 का लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि वह विपक्ष के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार बनने की दौड़ में भी नहीं हैं। एनसीपी सुप्रीमो ने इतना जरूर कहा कि उनकी भूमिका विपक्षी दलों को एकजुट करने और अगले साल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की भाजपा से मुकाबला करने के लिए गठबंधन बनाने में मदद करने की है।
पीएम मोदी की भाजपा से मुकाबले के लिए बनाना है मजबूत गठबंधन
82 वर्षीय कद्दावर नेता पवार ने मीडिया से बातचीत में कहा, ‘मेरा प्रयास विपक्ष को एक साथ लाने के लिए है। वही प्रयास बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा किया जा रहा है। मैं अगला चुनाव नहीं लड़ रहा हूं, इसलिए पीएम उम्मीदवार बनने का सवाल ही कहां है। मैं पीएम बनने की दौड़ में नहीं हूं। हम चाहते हैं एक ऐसा नेतृत्व उभरे, जो राष्ट्र के विकास के लिए काम कर सकता है।’
सीटों के बंटवारे के फॉर्मूले पर अब तक कोई फैसला नहीं
हालांकि, पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि एमवीए गठबंधन पार्टियां अभी सीटों के बंटवारे के फॉर्मूले पर किसी नतीजे पर नहीं पहुंची हैं। उन्होंने कहा, ‘मेरे आवास पर एक बैठक आयोजित की गई थी, जहां इस बात पर चर्चा हुई थी कि तीनों दलों (एमवीए) के नेता इस पर फैसला करेंगे। उद्धव ठाकरे, सोनिया गांधी या कांग्रेस प्रमुख मल्लिकार्जुन खड़गे इस पर चर्चा करने के लिए एक साथ बैठेंगे।’
कर्नाटक चुनाव परिणाम राहुल गांधी की पदयात्रा का सबसे अच्छा उदाहरण
पवार ने राहुल गांधी की ‘भारत जोड़ो यात्रा’ की प्रशंसा करते हुए कहा, ‘कर्नाटक विधानसभा चुनाव के नतीजे राहुल गांधी की पदयात्रा का सबसे अच्छा उदाहरण हैं। राहुल गांधी के बारे में कोई कुछ भी कहे, मुझे यकीन है कि लोग उनकी विचारधारा को मजबूत करेंगे।’
एमवीए के घटक दल सभी चुनाव संयुक्त रूप से लड़ेंगे
इसी क्रम में महाराष्ट्र विकास अघाड़ी (एमवीए) के, जिसमें एनसीपी, कांग्रेस और शिवसेना के उद्धव ठाकरे गुट शामिल हैं, तीन सहभागियों ने निकाय, लोकसभा और विधानसभा चुनाव संयुक्त रूप से लड़ने का फैसला किया है।
पिछले हफ्ते, शिवसेना के राज्यसभा सांसद संजय राउत ने कहा कि वे उन सभी 19 सीटों पर चुनाव लड़ेंगे, जिन्हें शिवसेना (अविभाजित) ने पिछले चुनाव में जीता था। हालांकि, 19 सांसदों में 13 एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले गुट में शामिल हो गए हैं। इससे पहले, पवार ने कहा था कि विपक्षी एकता रातोंरात नहीं होगी और आश्वासन दिया था कि अगले तीन से चार महीनों की चर्चा में यह किया जा सकता है।