महाराष्ट्र : एकनाथ शिंदे की कैबिनेट में शामिल होंगे 45 मंत्री भाजपा के 25, शिंदे गुट के 13 और अन्य स्वतंत्र होंगे
मुंबई, 7 जुलाई। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की कैबिनेट में 45 मंत्री शामिल हो सकते हैं। इनमें भाजपा के 25, एकनाथ शिंदे की शिवसेना के 13 मंत्री होंगे और बाकी स्वतंत्र होंगे। इस क्रम में शिंदे सेना और भाजपा के बीच फार्मूले को अंतिम रूप दिया जा रहा है। इसके तहत शिवसेना को हर तीन विधायकों पर एक मंत्रालय मिलेगा और भाजपा को हर चार विधायकों के लिए एक पद मिलेगा।
मंत्रिमंडल में अधिकतर नए चेहरों को मिलेगी जगह
सूत्रों का कहना है कि मुख्यमंत्री शिंदे और उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के अलावा कैबिनेट के अधिकतर मंत्री नए होंगे। बताया जा रहा है कि भाजपा अगले विधानसभा चुनाव से पहले नए चेहरों को परखना चाहती है।
उल्लेखनीय है कि 58 वर्षीय एकनाथ शिंदे ने शिवसेना में तख्तापलट का नेतृत्व करने के बाद महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के रूप में सत्ता संभाली थी, जिसने पिछली उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार को गिरा दिया था। देवेंद्र फडणवीस उनके डिप्टी के रूप में शामिल हुए थे।
सीएम शिंदे ने ‘मंत्रालय’ में संभाला कार्यभार
इस बीच मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने गुरुवार को राज्य सचिवालय (मंत्रालय) में आधिकारिक रूप से अपना पदभार संभाल लिया। शिंदे के कार्यभार संभालने से पहले भव्य तरीके से सजाए गए उनके कार्यालय में पूजा की गई। उनके कक्ष में शिवसेना के संस्थापक बाल ठाकरे की एक बड़ी तस्वीर और उसके बगल में शिंदे के राजनीतिक गुरु आनंद दिघे की तस्वीर लगी थी।सचिवालय भवन में प्रवेश करते ही शिंदे ने मराठा योद्धा छत्रपति शिवाजी महाराज और डॉ. बीआर आंबेडकर को पुष्पांजलि अर्पित की।
मुख्यमंत्री श्री एकनाथराव शिंदे यांनी आज मंत्रालयात पदभार स्वीकारला, त्यावेळी तेथे उपस्थित राहून त्यांना मनःपूर्वक शुभेच्छा दिल्या.#Maharashtra #Mumbai #Mantralaya pic.twitter.com/mUkzVt9Rah
— Devendra Fadnavis (@Dev_Fadnavis) July 7, 2022
बाल ठाकरे किसी की संपत्ति नहीं, उनसा संबंध संपूर्ण राज्य से है : दीपक केसरकर
वहीं शिंदे के नेतृत्व वाले विधायकों के गुट के प्रवक्ता दीपक केसरकर ने संवाददाताओं से कहा कि बाल ठाकरे किसी की संपत्ति नहीं हैं। शिंदे समूह द्वारा शिवसेना संस्थापक के नाम और तस्वीर के इस्तेमाल पर उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाले गुट की आपत्ति के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, ‘बालासाहेब का संबंध संपूर्ण राज्य से है और इस तथ्य को कोई नहीं बदल सकता।’
‘मैंने एमवीए में समस्याओं की बाबत उद्धव जी को समझाने की कोशिश की थी’
शिवसेना सांसद संजय राउत पर निशाना साधते हुए केसरकर ने कहा, ‘राउत शरद पवार (राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी प्रमुख) के करीबी हैं, मैं उद्धव जी के बारे में नहीं जानता। जब मुझे एहसास हुआ कि शिवसेना को महा विकास आघाड़ी (एमवीए) गठबंधन में समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है, तो मैंने उद्धव जी को समझाने की कोशिश की थी। मैं कभी मंत्री पद के लिए उनसे नहीं मिला।’
केसरकर ने कहा, ‘‘2014 में उन्होंने मुझसे कहा था कि वह मुझे कैबिनेट मंत्री नहीं बना सकते क्योंकि उन्हें बालासाहेब के साथ काम करने वाले शिवसेना नेताओं को पहली प्राथमिकता देनी थी। इसलिए मैं उद्धव जी का सम्मान करता हूं।’
लोकसभा में मुख्य सचेतक भावना गवली को हटाने का फैसला महिलाओं का अपमान
केसरकर ने उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना की ओर से लोकसभा में पार्टी की मुख्य सचेतक भावना गवली को हटाने के फैसले की भी आलोचना की। गवली के स्थान पर राजन विचारे को पार्टी का मुख्य सचेतक बनाया गया है। उन्होंने कहा, ‘इस तरह के कृत्य से आप महिलाओं का अपमान कर रहे हैं। वह पांच बार की सांसद हैं, जिन्होंने हमेशा शिवसेना का झंडा ऊंचा रखा है।’