चंडीगढ़, 4 जनवरी। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हरियाणा के यमुनानगर जिले में कथित अवैध खनन से जुड़े धन शोधन मामले की जांच के तहत बृहस्पतिवार को राज्य के कांग्रेस विधायक सुरेंद्र पंवार, इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) के पूर्व विधायक दिलबाग सिंह और कुछ अन्य के परिसरों पर छापेमारी की।
आधिकारिक सूत्रों ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि धन शोधन रोकथाम अधिनियम (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत यमुनानगर, सोनीपत, मोहाली, फरीदाबाद, चंडीगढ़ और करनाल में दोनों नेताओं और उनसे जुड़ी इकाइयों के 20 परिसरों की तलाशी ली जा रही है। पंवार सोनीपत से हरियाणा विधानसभा के सदस्य हैं, वहीं सिंह इनेलो से यमुनानगर सीट का प्रतिनिधित्व कर चुके हैं।
ईडी टीम की सुरक्षा के लिए केंद्रीय अर्द्धसैनिक बलों के सशस्त्र कर्मी मौजूद हैं। धन शोधन का मामला पिछले दिनों यमुनानगर और आसपास के जिलों में हुए कथित अवैध खनन की जांच के लिए दर्ज की गईं हरियाणा पुलिस की कई प्राथमिकियों से सामने आया है।
ये प्राथमिकियां पट्टा समाप्ति और अदालत के आदेश के बाद भी पूर्व में हुए पत्थर, बजरी और रेत के कथित अवैध खनन की जांच के लिए दर्ज की गई थीं। केंद्रीय एजेंसी राजस्व और करों के संग्रह को आसान बनाने और खनन क्षेत्रों में कर चोरी को रोकने के लिए 2020 में हरियाणा सरकार द्वारा लाई गई ऑनलाइन योजना में कथित धोखाधड़ी की भी जांच कर रही है।
चंडीगढ़, 4 जनवरी। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हरियाणा के यमुनानगर जिले में कथित अवैध खनन से जुड़े धन शोधन मामले की जांच के तहत बृहस्पतिवार को राज्य के कांग्रेस विधायक सुरेंद्र पंवार, इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) के पूर्व विधायक दिलबाग सिंह और कुछ अन्य के परिसरों पर छापेमारी की।
आधिकारिक सूत्रों ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि धन शोधन रोकथाम अधिनियम (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत यमुनानगर, सोनीपत, मोहाली, फरीदाबाद, चंडीगढ़ और करनाल में दोनों नेताओं और उनसे जुड़ी इकाइयों के 20 परिसरों की तलाशी ली जा रही है। पंवार सोनीपत से हरियाणा विधानसभा के सदस्य हैं, वहीं सिंह इनेलो से यमुनानगर सीट का प्रतिनिधित्व कर चुके हैं।
ईडी टीम की सुरक्षा के लिए केंद्रीय अर्द्धसैनिक बलों के सशस्त्र कर्मी मौजूद हैं। धन शोधन का मामला पिछले दिनों यमुनानगर और आसपास के जिलों में हुए कथित अवैध खनन की जांच के लिए दर्ज की गईं हरियाणा पुलिस की कई प्राथमिकियों से सामने आया है।
ये प्राथमिकियां पट्टा समाप्ति और अदालत के आदेश के बाद भी पूर्व में हुए पत्थर, बजरी और रेत के कथित अवैध खनन की जांच के लिए दर्ज की गई थीं। केंद्रीय एजेंसी राजस्व और करों के संग्रह को आसान बनाने और खनन क्षेत्रों में कर चोरी को रोकने के लिए 2020 में हरियाणा सरकार द्वारा लाई गई ऑनलाइन योजना में कथित धोखाधड़ी की भी जांच कर रही है।