Site icon hindi.revoi.in

ईडी ने जॉर्ज सोरोस के ओएसएफ के लाभार्थियों और इससे जुड़ी संस्थाओं के खिलाफ की छापेमारी

Social Share
FacebookXLinkedinInstagramTelegramWhatsapp

नई दिल्ली/बेंगलुरु, 18 मार्च। प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने विदेशी मुद्रा प्रबंध अधिनियम (फेमा) के उल्लंघन से संबंधित जांच के सिलसिले में मंगलवार को अमेरिकी अरबपति जॉर्ज सोरोस समर्थित ‘ओपन सोसाइटी फाउंडेशन’ (OSF) के कुछ कथित लाभार्थियों और उससे जुड़ी कुछ संस्थाओं के खिलाफ बेंगलुरु में छापेमारी की। आधिकारिक सूत्रों ने यह जानकारी दी।

सूत्रों ने बताया कि फेमा के तहत कुछ अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार संगठनों से जुड़े लोगों सहित लाभार्थियों के परिसरों की तलाशी ली जा रही है। उन्होंने बताया कि यह मामला ओएसएफ द्वारा कथित रूप से प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) प्राप्त करने और कुछ लाभार्थियों द्वारा फेमा दिशा-निर्देशों का कथित उल्लंघन कर इन निधियों का उपयोग किए जाने से संबंधित है।

एक न्यूज एजेंसी द्वारा ओएसएफ को भेजे गए ईमेल का अभी जवाब नहीं मिला है। हंगरी-अमेरिकी राजनीतिक कार्यकर्ता सोरोस और उसके संगठन ओएसएफ पर सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने भारत के हितों के खिलाफ काम करने का आरोप लगाया है। अदाणी-हिंडनबर्ग विवाद के दौरान उनके बयानों की भी पार्टी ने आलोचना की थी।

ओएसएफ के अनुसार, वह मानवाधिकार, न्याय और जवाबदेह सरकार का समर्थन करने वाले समूहों को निजी तौर पर वित्तपोषित करने वाले दुनिया के सबसे बड़े समूहों में से एक है। आधिकारिक आंकड़ों के मुताबकि, 2021 के दौरान भारत के लिए इसका कुल खर्च 4,06,000 अमेरिकी डॉलर था। ओएसएफ ने 1999 में भारत में काम करना शुरू किया, जिसमें भारतीय संस्थानों में अध्ययन और शोध करने के लिए छात्रों को छात्रवृत्ति एवं फेलोशिप की पेशकश की गई।

Exit mobile version