वॉशिंगटन, 26 जनवरी। अमेरिका के पूर्व विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ की किताब ‘नेवर गिव एन इंच, फाइटिंग फॉर द अमेरिका आई लव’ में भारत को लेकर किए गए दावों से अमेरिका ने किनारा करते हुए कहा है कि यह उनका निजी विचार है, इससे अमेरिका का कोई संबंध नहीं है।
दरअसल, पोम्पिओ ने अपनी किताब में दावा किया है कि वर्ष 2019 में भारत और पाकिस्तान परमाणु युद्ध के करीब आ गए थे। वर्ष 2019 में जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में भारतीय सैनिकों के काफिले में आतंकी हमला हुआ था। इस हादसे में करीब 40 सैनिक मारे गए थे। इसके बाद जवाबी काररवाई में भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ बालाकोट सर्जिकल स्टाइक की थी। भारत सरकार ने इस हवाई हमले में दावा किया था कि उसने कई चरमपंथियों का मार गिराया है।
इस मुद्दे पर अब तक भारत व पाकिस्तान की ओर से कोई टिप्पणी नहीं
इस घटना का जिक्र करते हुए पोम्पिओ ने अपनी नई किताब में लिखा कि उनकी उस समय भारत की विदेश मंत्री रहीं सुषमा स्वराज से बात हुई थी। सुषमा स्वराज ने उन्हें बताया था कि पाकिस्तान 2019 में बालाकोट सर्जिकल स्ट्राइक के मद्देनजर परमाणु हमले की तैयारी कर रहा था। हालांकि, पोम्पिओ के इस दावे पर अब तक भारत और पाकिस्तान की तरफ से कोई जवाब नहीं आया है। दोनों देशों की ओर से इस मुद्दे पर कोई टिप्पणी नहीं की गई है।
सुषमा स्वराज से बातचीत का जिक्र कर पोम्पिओ ने किया था दावा
अमेरिका के पूर्व विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ ने कहा कि वह 2019 में 27-28 फरवरी को अमेरिका-उत्तर कोरिया शिखर सम्मेलन के लिए हनोई गए हुए थे। उस दौरान ही यह घटना हुई। हनोई में उन्हें भारतीय समकक्ष का फोन आया। कॉल पर उन्होंने जानकारी दी कि पाकिस्तान ने परमाणु हमले की तैयारी कर ली है और भारत भी अपनी तैयारियां शुरू करने का विचार कर रहा है। मैंने उन्होंने कॉल पर आश्वासन दिया कि अभी कुछ करने की जरूरत नहीं है और मुझे चीजें ठीक करने के लिए कुछ समय दें। उन्होंने कहा कि वह रातभर इन कोशिशों में लगे रहे कि परमाणु युद्ध न हो। इस युद्ध को रोकने के लिए पोम्पिओ ने दोनों देशों के अधिकारियों से बातचीत की और युद्ध न करने की अपील की।