अलीगढ़, 14 सितम्बर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को कहा कि हाल के वर्षो में उत्तर प्रदेश ने निवेश के क्षेत्र में अच्छे गंतव्य के रूप में देश दुनिया में अपनी पहचान बनायी है। राजा महेन्द्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय के शिलान्यास कार्यक्रम को संबोधित करते हुए योगी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 2018 में लखनऊ में यूपी इंवेस्टर्स समिट का उद्घाटन किया था। इस कार्यक्रम के तीन साल के भीतर यूपी में तीन लाख करोड़ रूपये का निवेश आ चुका है जिससे प्रदेश के एक लाख 61 हजार नौजवानों को अपने जिले और गांव में नौकरी रोजगार मिला।
उन्होंने कहा कि जब वैश्विक महामारी कोविड-19 से पूरी दुनिया त्रस्त और पस्त है, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में जीवन और जीविका बचाने के सफल प्रयास के साथ आत्मनिर्भर पैकेज के साथ हर तबके के स्वालंबन के लिये काम किया जा रहा है। महामारी से बचाव के लिये दो स्वदेशी वैक्सीन देने के साथ 75 करोड़ देशवासियों को कोरोना की डोज का एतिहासिक लक्ष्य पूरा किया गया।
पीएम मोदी के नेतृत्व में सदी की सबसे बड़ी महामारी से निपटने में भारत के बेहतर प्रबंधन की दुनिया कायल हो चुकी है। मोदी ने प्रदेश को डिफेंस मान्यूफेक्चरिंग कारिडोर का तोहफा दिया था जिसके अलीगढ नोड का आज शुभारंभ हुआ है। इससे रक्षा उत्पादन में देश के आत्मनिर्भरता के लक्ष्य के साथ साथ हार्डवेयर के क्षेत्र मे अग्रणी अलीगढ़ को रफ्तार मिलेगी।
उन्होने कहा कि अक्सर कहा जाता है कि आजादी की लडाई में अलीगढ़ को नेतृत्व प्रदान करने के साथ शिक्षा के क्षेत्र में अद्वितीय योगदान देने वाले राजा महेन्द्र प्रताव सिंह को यह क्षेत्र कभी विस्मृत नहीं कर सकता। उनकी स्मृति में आज राज्य विवि का शिलान्यास श्री मोदी करने आये है । राधा अष्टमी के दिन ब्रज क्षेत्र के लिये डिफेंस कारिडोर के अलीगढ़ नोड और और राजा महेन्द्र सिंह राज्य विवि का शिलान्यास सोने पर सुहागा का काम कर रहा है।
सीएम योगी ने कहा कि यूपी आठ नये विश्वविद्यालयों के साथ काम कर रहा है। सहारनपुर में मां शाकुम्बरी देवी के नाम पर विवि प्रस्तावित है जबकि मेरठ में प्रदेश का पहला खेल विश्वविद्यालय हाकी के जादूगर मेजर ध्यानचंद को समर्पित किया गया है। पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर लखनऊ में मेडिकल यूनीवर्सिटी प्रस्तावित है तो प्रयागराज में विधि विश्वविद्यालय का शिलान्यास हाल ही में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने किया है।
उन्होंने कहा कि साल 2007 से 2017 तक गन्ना किसानों का मात्र 95 हजार करोड़ रुपये के गन्ना मूल्य का भुगतान किया गया था जबकि 2017 से अब तक 1 लाख 45 हजार करोड़ का गन्ना मूल्य का भुगतान सरकार कर चुकी है। कोरोना काल में चीनी मिलों को लगातार चलाया गया। किसानों की आमदनी दोगुना करने के लक्ष्य के साथ केंद्र सरकार ने कई योजनाये किसानों के लिए चलाई हैं जिसके सकारात्मक परिणाम सामने आये हैं।