लखनऊ, 20 सितंबर। यूपी विधानसभा के मानसून सत्र का आज दूसरा दिन है। ऐसे में विधानसभा सत्र के दूसरे दिन हंगामे के आसार नजर आ रहे हैं। विपक्ष का कहना है कि इस सत्र से जनता को काफी उम्मीदें हैं। इसको ध्यान में रखते हुए आज भी विपक्ष सत्र में हुंकार भरेगा। आज विधानसभा का कार्यवाही 11 बजे शुरू होगी।
- बसपा ने विधानपरिषद में उठाया था यह मु्द्दा
1- पहले दिन यानी सोमवार को बहुजन समाज पार्टी (बसपा) ने विधान परिषद में लखीमपुर खीरी में पिछले दिनों दो दलित बेटियों के साथ दुष्कर्म किए जाने के बाद हत्या का मामला उठाया था। बसपा सदस्य भीमराव अम्बेडकर ने कहा कि हत्या के बाद दोनों बहनों को पेड़ से लटका दिया गया। इस घटना से खीरी सहित पूरे प्रदेश में आक्रोश है।
2- वहां के पुलिस अधीक्षक ने जांच से पहले ही प्रेम-प्रसंग की बात मीडिया में कही थी। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद बेटियों के साथ दुष्कर्म की सच्चाई सामने आई। उन्होंने पीड़ित परिवार को एक करोड़ रुपये की मदद व सदस्य को सरकारी नौकरी दिए जाने की मांग की।
3- उन्होंने यह भी कहा कि पूरे प्रदेश में अनुसूचित जाति की महिलाओं व नाबालिग बच्चियों को निशाना बनाया जा रहा है। नेता सदन केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि दलित बच्चियों की दुष्कर्म के बाद हत्या के मामले में हमारी संवेदनाएं भी पीड़ित परिवार के साथ हैं।
4- इस घटना के किसी भी दोषी को सरकार छोड़ेगी नहीं।
5- एक-एक अपराधी पकड़ा जाएगा। एसआइटी का गठन कर दिया गया है। इस तरह की घटना के आरोपितों को कोई छूट नहीं मिल सकती है। हम सीमावर्ती जिलों में भी जांच कराएंगे यदि दलितों के उत्पीड़न का कोई मामला मिलता है तो दोषियों पर कार्रवाई की जाएगी।
6- नेता सदन ने यह भी कहा कि अपराधियों को सजा दिलाने के मामले में उत्तर प्रदेश, देश में चौथे स्थान पर है। हमने 7713 मामलों में अपराधियों को सजा दिलाई है। सभापति कुंवर मानवेन्द्र सिंह ने कार्यस्थगन अस्वीकार कर दिया।
- शिक्षक दल ने उठाया वित्त विहीन शिक्षकों का मुद्दा
शिक्षक दल के सुरेश कुमार त्रिपाठी व ध्रुव कुमार त्रिपाठी ने माध्यमिक विद्यालयों के वित्त-विहीन शिक्षकों को समान कार्य के लिए समान वेतन न मिलने का मामला उठाया। कहा जब तक सेवा शर्तें लागू नहीं होती हैं तब तक कम से कम 25 हजार रुपये मासिक वेतन दिया जाए। उन्होंने कहा कि करीब तीन लाख से अधिक शिक्षकों को जीवन जीने लायक वेतन तक नहीं मिल रहा है।
नेता सदन केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि वित्त विहीन शिक्षकों को वेतन देने की जिम्मेदारी प्रबंध समिति की होती है। वहीं, निर्दलीय समूह के राजबहादुर सिंह चन्देल एवं डा. आकाश अग्रवाल ने भी वित्त-विहीन विद्यालयों के शिक्षकों को 15 हजार रुपये प्रतिमाह का भुगतान सीधे बैंक खाते में करने की मांग की। सभापति ने कार्यस्थगन अस्वीकार कर दिया।
- तीन अध्यादेश सदन की मेज पर रखे
विधान परिषद में नेता सदन ने तीन अध्यादेश सदन की मेज पर रखे। इनमें उत्तर प्रदेश महर्षि सूचना प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (संशोधन) अध्यादेश-2022, सामान्य भविष्य निधि (उत्तर प्रदेश) नियमावली 1985 नियम-12 (संशोधन और विधिमान्यकरण) अध्यादेश-2022 व इंटरमीडिएट शिक्षा (संशोधन) अध्यादेश-2022 शामिल हैं।