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मोदी सरकार में गुलाम नबी आजाद को पद्म भूषण सम्मान के एलान से कांग्रेस में हलचल

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नई दिल्ली, 26 जनवरी। मोदी सरकार की ओर से कांग्रेस के मुखर नेताओं में से एक जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री गुलाम नबी आजाद को पद्म भूषण सम्मान दिए जाने के एलान से पार्टी में हलचल मच गई है और ये चर्चाएं तेज हो गई हैं कि अब गुलाम नबी के भी भाजपा में जाने की पटकथा लिखी जा चुकी है।

दरअसल, मोदी सरकार ने ऐसे वक्त गुलाम नबी आजाद के लिए देश के तीसरे सर्वोच्च नागरिक सम्मान की घोषणा की है, जब जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव होने में ज्यादा वक्त नहीं रह गया है और बीते दिनों गृह मंत्री अमित शाह इसका संकेत भी दे चुके हैं।

पीएम मोदी भी कर चुके हैं गुलाम नबी की तारीफ

उल्लेखनीय है कि गुलाम नबी आजाद कांग्रेस के उन 23 दिग्गज नेताओं में शामिल है, जिन्होंने पार्टी नेतृत्व में बदलाव की मांग को लेकर आलाकमान को पत्र लिखा था। दिलचस्प यह है कि पीएम नरेंद्र मोदी पूर्व में गुलाम नबी आजाद की तारीफ भी कर चुके हैं। ऐसे में पद्म भूषण की घोषणा को लेकर तमाम तरह के कयास लगाए जा रहे हैं।

एनडीए सरकार में यह सम्मान पाने वालों में कांग्रेस के पहले नेता

एनडीए सरकार में इस सम्मान को पाने वालों में गुलाम नबी आजाद कांग्रेस के पहले नेता हैं। इससे पहले प्रणब मुखर्जी को भारत रत्न मिला था, लेकिन यह राष्ट्रपति के तौर पर कार्य करने के बाद आधिकारिक तौर पर राजनीति से ऊपर माना जाता है।

ज्ञातव्य है कि पिछले वर्ष नवंबर में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने पार्टी की डिसिप्लिनरी एक्शन कमेटी का दोबारा गठन किया था। इस पैनल से आजाद का नाम बाहर कर दिया गया था। यह उस समय हुआ, जब जम्मू-कश्मीर कांग्रेस के 20 नेताओं ने पार्टी के पदों से इस्तीफा दे दिया। वे सभी आजाद के करीबी माने जाते हैं।

कांग्रेस में आजाद को नजरअंदाज किये जाने और पीएम मोदी द्वारा तारीफ किए जाने के बाद अब उन्हें पद्म भूषण सम्मान का एलान किया गया है। ऐसे में गुलाम नबी के कांग्रेस में इन-आउट को लेकर काफी चर्चा है। कहा जाता है कि पार्टी आलाकमान ने भी कई बड़े मौकों पर गुलाम नबी आजाद की गतिविधियों के चलते नजरअंदाज किया। ऐसे में आजाद हाशिये पर जाते दिखे।

जम्मू-कश्मीर में दिखा चुके हैं अपनी ताकत

इतना ही नहीं कांग्रेस की परेशानी तब और बढ़ गई थी, जब गुलाम नबी आजाद पिछले साल दिसंबर में जम्मू कश्मीर में ताबड़तोड़ रैलियां कर रहे थे। उनकी रैलियों में आने वाली भीड़ ने पार्टी आलाकमान को चिंता में डाल दिया था। इसके बाद अब 24 जनवरी को कांग्रेस ने अपने 30 स्टार प्रचारकों के नाम घोषित किये। इसमें गुलाम नबी आजाद का भी नाम शामिल है।

कांग्रेस में गुलाम नबी आजाद को लेकर हलचल इसलिए भी बढ़ी है कि पार्टी के कुछ नेता हाल ही में भाजपा में शामिल हो चुके हैं। आरपीएन सिंह इनमें ताजा नाम है। वहीं पीएम मोदी के साथ गुलाम नबी आजाद के रिश्तों को देखते हुए उनके पार्टी में रहने और जाने की अटकलों को हवा लगी है।