नई दिल्ली, 17 जनवरी। जमात-उद-दावा और लश्कर-ए-तैयबा का डिप्टी चीफ अब्दुल रहमान मक्की को आखिरकार वैश्विक आतंकी घोषित कर दिया गया है। कई आतंकी गतिविधियों में लिप्त रहे मक्की को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) ने सोमवार को वैश्विक आतंकी घोषित कर दिया। मक्की काफी पहले ही वैश्विक आतंकी घोषित हो सकता था, लेकिन चीन के अड़ंगे के कारण वो इससे बचता रहा। हालांकि इस बार चीन ने भी यूएन में पाकिस्तान का साथ नहीं दिया, जिस वजह से मक्की को वैश्विक आतंकी घोषित करने का रास्ता साफ हो गया।
- हाफिज सईद का बहनोई है मक्की
मक्की 26/11 मुंबई बम धमाकों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद का बहनोई है। भारत और अमेरिका में पहले ही मक्की को वैश्विक आतंकी घोषित किया जा चुका है। भारत बीते साल यूएन में एक प्रस्ताव भी लाया था, जिससे मक्की को वैश्विक आतंकी घोषित किया जा सके, लेकिन चीन ने सारी उम्मीदों पर पानी फेर दिया। तब उसे वैश्विक आतंकी घोषित नहीं किया जा सका था।
- फंडिंग जुटाने में सक्रिय रहता है मक्की
मक्की आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के लिए फंडिंग जुटाने का काम करता रहा है। इसके अलावा कश्मीर में कई आतंकी घटनाओं को अंजाम देने में भी उसका हाथ रहा है। मक्की भारत के खिलाफ आतंकियों को तैयार भी करता है। मक्की युवाओं को हिंसा के लिए कट्टरपंथी बनाता है और उन्हें भड़काता है।
- पाकिस्तान की अदालत ने सुनाई थी 6 महीने की सजा
करीब दो साल पहले पाकिस्तान की आतंकवाद निरोधी एक अदालत ने टेरर फंडिंग मामले में अब्दुल रहमान मक्की को भी 6 महीने की सजा सुनाई थी। मक्की को वैश्विक आतंकी घोषित किए जाने के बाद उस पर कई प्रतिबंध लगाए जाएंगे। मक्की की संपत्ति को फ्रीज किया जाएगा। इसके अलावा मक्की की यात्रा पर भी प्रतिबंध लगेगा।