शिमला, 20 अगस्त। हिमाचल प्रदेश में पिछले 24 घंटे से हो रही मूसलाधार बारिश ने काफी तबाही मचाई है। बारिश केबीच भूस्खलन सहित अन्य हादसों में अंतिम समाचार मिलने तक 19 लोगों की मौत हुई है। सबसे ज्यादा मंडी जिले में 12 लोगों की मौत हुई है। इसके बाद चंबा में तीन जबकि शिमला और कांगड़ा दो-दो लोगों ने जान गंवाई।
कांगड़ा, मंडी और चंबा सर्वाधिक प्रभावित, तीनों जिलों में स्कूल-कॉलेज बंद
राज्य में शुक्रवार से शनिवार के बीच बाढ़, भूस्खलन और बादल फटने की 34 घटनाएं हुई हैं। कांगड़ा, मंडी और चंबा जिले सबसे ज्यादा प्रभावित हैं। इन जिलों में कई लोग लापता हैं। हालात की गंभीरता को देखते हुए राज्य के प्रमुख सचिव आरडी धीमान ने अधिकारियों की आपात बैठक ली।
राज्य सरकार ने बारिश से बुरी तरह प्रभावित कांगड़ा, मंडी और चंबा जिले में सभी स्कूल-कॉलेज बंद करने के निर्देश दिए हैं। बाकी जिलों के डीसी भी हालात के अनुसार स्कूल-आंगनवाड़ी सेंटर बंद करने का फैसला ले सकेंगे।
24 घंटे के दौरान कांगड़ा में सबसे ज्यादा 346.6 मिमी बारिश
हिमाचल में बीते 24 घंटे के दौरान कांगड़ा जिला में सबसे ज्यादा 346.6 मिलीमीटर बारिश हुई। मंडी में 119.6 मिमी, डलहौजी में 111 मिमी, पालमपुर में 113 मिमी, सुंदरनगर में 77.7 मिमी, धर्मशाला में 333 मिमी, बरठीं में 60, शिमला में 57.7 मिमी और कुफरी में 69 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई।
इस दौरान कांगड़ा के धर्मशाला में 24 घंटे में 333 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई है, जिससे यहां बारिश का 64 वर्षों का रिकॉर्ड टूट गया। इससे पहले 6 अगस्त,1958 को यहां 314.9 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई थी।
पंजाब और हिमाचल को जोड़ने वाला नैरो गेज रेलवे बुल बहा
वहीं कांगड़ा जिले में चक्की नदी पर बना पंजाब और हिमाचल को जोड़ने वाला रेलवे पुल भी बह गया। भारी बारिश के बीच चक्की खड्ड में उफान आ गया। इसके बाद जो बाढ़ आई, उसमें खड्ड पर 1929 में बना 800 मीटर लंबा पठानकोट-जोगिंद्रनगर नैरो गेज रेलवे पुल बह गया। हालांकि इस पुल को एक हफ्ते पहले ही असुरक्षित घोषित कर दिया था और अगस्त के पहले हफ्ते में ही बंद कर दिया था।
मंडी में पहाड़ धंसा, एक ही परिवार के 8 लोग दबे
हादसों के क्रम में मंडी जिले में बारिश का कहर सबसे ज्यादा बरपा है। यहां गोहर में पहाड़ी धंसने से काशन पंचायत के जड़ोन गांव में एक ही परिवार के आठ सदस्य इसकी चपेट में आ गए। सभी के शव बरामद कर लिए गए हैं। घटना के समय सभी घर में सो रहे थे। यहां तीन अन्य हादसों में चार और लोगों की मौत हुई है।
अलग-अलग जिलों में 742 सड़कें ब्लॉक
बारिश के कहर से हिमाचल के अलग-अलग जिलों में 742 सड़कें ब्लॉक हो गईं। बिजली के 2000 ट्रांसफॉर्मर बंद हो गए और 172 पेयजल योजनाएं प्रभावित हैं।
लाहौल स्पीति को छोड़ अन्य 11 जिलों में अगले 46 घंटे मूसलाधार बारिश का अलर्ट
मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक सुरेंद्र पाल ने बताया कि अगले 36 से 46 घंटे तक राज्य में भारी बारिश का येलो अलर्ट रहेगा। इस दौरान लाहौल स्पीति को छोड़कर बाकी सभी 11 जिलों में भारी बारिश के आसार हैं। प्रदेश में मौसम 24 अगस्त के बाद ही साफ होने की उम्मीद है।