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स्टेनफोर्ड यूनिवर्सिटी में इमोशनल हुए राहुल गांधी, कहा- ‘मानहानि मामले में सबसे ज्यादा सजा पाने वाला व्यक्ति हूं’

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नई दिल्ली, 1 जून। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि जब वह राजनीति में आए थे, तब उन्होंने नहीं सोचा था कि उन्हें लोकसभा सदस्यता से कभी अयोग्य घोषित किया जाएगा, हालांकि इससे उन्हें लोगों की सेवा करने का ‘‘बड़ा मौका” मिला है। राहुल अमेरिका के तीन शहरों की यात्रा पर हैं। कैलिफोर्निया में प्रतिष्ठित स्टेनफोर्ड यूनिवर्सिटी परिसर में भारतीय छात्रों के सवालों के जवाब में उन्होंने यह बात कही।

गौरतलब है कि सूरत की एक अदालत ने 2019 में ‘‘मोदी उपनाम” को लेकर की गई टिप्पणी से जुड़े मामले में राहुल को इस साल की शुरुआत में आपराधिक मानहानि का दोषी ठहराते हुए दो साल के कारावास की सजा सुनाई थी। सजा के ऐलान के बाद, कांग्रेस नेता को लोकसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित कर दिया गया था। वह केरल के वायनाड से सांसद थे।

राहुल ने कहा कि जब वह वर्ष 2000 में राजनीति में आए थे, तब उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि उन्हें ऐसी स्थिति का सामना करना होगा। उन्होंने कहा कि आज वह जो कुछ भी होता देख रहे हैं, वह उससे एकदम अलग है, जैसा कि उन्होंने राजनीति में कदम रखते समय सोचा था। संसद सदस्य के रूप में लोकसभा से अपनी अयोग्यता पर राहुल (52) ने कहा कि उन्होंने कल्पना भी नहीं की थी कि ऐसा कुछ होगा। राहुल ने कहा, मैं शायद भारत में मानहानि के मामले में सबसे ज्यादा सजा पाने वाला व्यक्ति हूं. उन्होंने कहा कि मैंने कभी सोचा नहीं था कि कभी ऐसा कुछ होगा।

राहुल ने कहा, ‘‘लेकिन फिर मुझे लगता है कि इसने मुझे वास्तव में एक बड़ा अवसर दिया है। शायद बेहद बड़ा अवसर। राजनीति ऐसी ही होती है।” उन्होंने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि यह नाटक वास्तव में करीब छह महीने पहले शुरू हुआ। हम संघर्ष कर रहे थे। पूरा विपक्ष भारत में संघर्ष कर रहा है। सारा धन चुनिंदा वर्ग के पास है। संस्थाओं पर कब्जा हो रखा है। हम अपने देश में लोकतांत्रिक लड़ाई लड़ने के लिए संघर्ष कर रहे हैं।

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