नई दिल्ली, 6 मई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सिंधु जल संधि के निलंबन के बाद पाकिस्तान को कड़ा संदेश देते हुए मंगलवार को कहा कि भारत के पानी का इस्तेमाल सिर्फ भारत के हित में किया जाएगा। उन्होंने कहा कि पहले भारत का हक का पानी भी देश से बाहर चला जाता था, लेकिन अब यह भारत के फायदे के लिए बहेगा और देश के लिए इस्तेमाल किया जाएगा।
पीएम मोदी ने पहलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के खिलाफ जवाबी काररवाई के तहत भारत द्वारा सिंधु जल संधि को स्थगित करने का स्पष्ट संदर्भ देते हुए कहा, ‘पहले, भारत का हक का पानी भी देश से बाहर जा रहा था। अब भारत का पानी देश के हित में बहेगा और देश के काम आएगा।’
ABP नेटवर्क के ‘इंडिया@2047’ शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने जोर देकर कहा कि बड़े फैसले लेने और उद्देश्यों को हासिल करने के लिए राष्ट्रीय हित को प्राथमिकता देना और देश की क्षमता पर विश्वास करना महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा, ‘मीडिया में पानी के मुद्दे (सिंधु-जल संधि का जिक्र करते हुए) पर चर्चा चल रही है… ‘भारत के हक का पानी, भारत के हक में बहेगा।’
Speaking at the ABP Network India@2047 Summit. @ABPNewshttps://t.co/p0GzjptHUk
— Narendra Modi (@narendramodi) May 6, 2025
वक्फ कानून में सुधार की जरूरत दशकों से महसूस की जा रही थी
नए वक्फ कानून का जिक्र करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि कानून में सुधार की जरूरत दशकों से महसूस की जा रही थी, लेकिन वोट बैंक को संतुष्ट करने के लिए इस नेक काम को भी बदनाम किया गया। उन्होंने कहा, ‘अब संशोधन किए गए हैं, जो सही मायने में गरीब मुस्लिम माताओं और बहनों और गरीब पसमांदा मुसलमानों की मदद करेंगे।’
बदलते भारत का सबसे बड़ा सपना 2047 तक ‘विकसित भारत‘ बनना
पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि इस बदलते भारत का सबसे बड़ा सपना 2047 तक ‘विकसित भारत’ बनना है। उन्होंने कहा, ‘देश में इसके लिए क्षमताएं, संसाधन और इच्छाशक्ति है।’ भारत-यूके मुक्त व्यापार समझौते (FTP) को अंतिम रूप दिए जाने के बारे में उन्होंने कहा कि यह एक ऐतिहासिक दिन है क्योंकि दो बड़ी और खुली बाजार अर्थव्यवस्थाओं के बीच यह समझौता दोनों देशों के विकास में एक नया अध्याय लिखेगा।
उन्होंने कहा, ‘इससे भारत में आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा और भारतीय व्यवसायों और एमएसएमई के लिए नए रास्ते और अवसर खुलेंगे। भारत न केवल सुधार कर रहा है, बल्कि दुनिया के साथ सक्रिय रूप से जुड़कर खुद को एक जीवंत व्यापार और वाणिज्य केंद्र भी बना रहा है।’

