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पीएम मोदी भाजपा की राष्ट्रीय परिषद की बैठक में पेश करेंगे आगामी लोकसभा चुनाव का एजेंडा

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नई दिल्ली, 16 फरवरी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार से शुरू हो रही भारतीय जनता पार्टी (BJP) की राष्ट्रीय परिषद की दो दिवसीय बैठक में आगामी लोकसभा चुनावों के लिए पार्टी का एजेंडा प्रस्तुत कर सकते हैं। इस बैठक में निर्वाचित पंचायत प्रमुखों से लेकर जिला अध्यक्षों और केंद्रीय मंत्रियों सहित पार्टी के लगभग 11,500 सदस्य भाग लेंगे। पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा बैठक का उद्घाटन करेंगे और पीएम मोदी रविवार को समापन सत्र को संबोधित करेंगे।

भारत मंडपम में जेपी नड्डा ने प्रदर्शनी का किया उद्घाटन

ऐसी संभावना जताई जा रही है कि प्रधानमंत्री अपने संबोधन के जरिए भाजपा के चुनावी अभियान की व्यापक रूपरेखा सामने रखेंगे और लोकसभा चुनाव में 370 सीटें जीतने के अपने लक्ष्य को हासिल करने के लिए उन्हें पूरी ताकत झोंक देने के लिए प्रेरित करेंगे। भाजपा की यह बैठक प्रगति मैदान स्थित भारत मंडपम में होनी है। वहां विकसित भारत की अवधारणा पर एक प्रदर्शनी भी लगाई गई है, जिसका उद्घाटन नड्डा ने शुक्रवार को किया।

बैठक में 11,500 सदस्यों के मौजूद रहने का पार्टी ने किया दावा

भाजपा नेताओं की यह बैठक पिछले कई सालों में हुई पार्टी की परिषद बैठकों में सबसे बड़ी साबित हो सकती है, जिसमें 11,500 सदस्यों के मौजूद रहने का पार्टी ने दावा किया है। कुछ नेताओं ने 1995 में पार्टी द्वारा मुंबई में आयोजित विशाल महाधिवेशन को याद किया जिसमें इसके हजारों सदस्यों ने भाग लिया था। बैठक में मुख्यमंत्री, राज्यों के मंत्री, प्रदेश अध्यक्ष और देशभर से पार्टी संगठन के वरिष्ठ नेता शामिल होंगे। पार्टी के जिला निकायों और देश भर से आए ‘मोर्चों’ के प्रतिनिधि भी इस विशाल बैठक में शामिल होंगे।

पिछले 10 वर्षों में आयोजित राष्ट्रीय परिषद की बैठकों में उपस्थिति आमतौर पर लगभग 3,000 रही थी। इनमें वे दो बैठकें भी शामिल हैं, जो वर्ष 2014 और 2019 के लोकसभा चुनावों से पहले राष्ट्रीय राजधानी में हुई थीं। वर्ष 1995 में हुए मुंबई अधिवेशन में भाजपा के तत्कालीन अध्यक्ष लालकृष्ण आडवाणी ने अटल बिहारी वाजपेयी को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किया था और इसके बाद पार्टी के लिए सत्ता का रास्ता साफ हुआ था।

पार्टी के नेताओं को उम्मीद है कि इस बार की राष्ट्रीय परिषद भी उसके कार्यकर्ताओं में जोश भरने का काम करेगी ताकि मोदी लगातार तीसरी बार देश के प्रधानमंत्री बनें और इस मामले में पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के रिकार्ड की बराबरी करें।

पार्टी के वरिष्ठ नेता रविशंकर प्रसाद ने गुरुवार को कहा था कि परिषद में दो प्रस्ताव पारित किए जाने की संभावना है। आम तौर पर, एक प्रस्ताव मौजूदा राजनीतिक माहौल और तात्कालिक मुद्दों पर पार्टी के रुख को सामने रखता है जबकि दूसरा अर्थव्यवस्था की स्थिति पर आधारित होता है।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा संसद में पेश अर्थव्यवस्था पर हालिया श्वेत पत्र, अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण, विपक्षी ‘इंडिया’ गठबंधन में कथित बिखराब, 2023 में जी20 शिखर सम्मेलन की सफलता और देश की वैश्विक स्थिति उन मुद्दों में शामिल हैं, जो बैठक में पार्टी के प्रमुख नेताओं के भाषणों और प्रस्तावों में उठने की संभावना है।

पार्टी नेताओं ने कहा कि बैठक में मोदी सरकार की कल्याणकारी योजनाओं के परिणामों के अलावा महिलाओं, युवाओं, गरीबों और किसानों को सशक्त बनाए जाने की ‘मोदी की गारंटी’ पर ध्यान केंद्रित किया जा सकता है, जिन्हें अक्सर मोदी अपने लिए चार सबसे बड़ी जातियों बताते रहे हैं। राजनीतिक पर्यवेक्षकों की नजर इस बात पर भी होगी कि क्या सत्तारूढ़ पार्टी चुनावी बॉण्ड और किसानों के विरोध प्रदर्शनों से संबंधित मुद्दों को छूती है कि नहीं। उच्चतम न्यायालय ने चुनावी बॉण्ड को असंवैधानिक करार दिया है जबकि किसान संगठन अपनी विभिन्न मांगों को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं।

रविशंकर प्रसाद ने कहा कि पीएम मोदी ने पार्टी के लिए 370 लोकसभा सीट जीतने का लक्ष्य तय किया है जबकि सत्तारूढ़ गठबंधन के लिए 543 में से 400 से अधिक सीट जीतने का लक्ष्य तय किया है। उन्होंने कहा, “इस बार प्रधानमंत्री ने भाजपा के लिए 370 सीट और राजग के लिए 400 से अधिक सीट जीतने का लक्ष्य रखा है। प्रधानमंत्री के आह्वान को फलीभूत करने के लिए ‘राष्ट्रीय अधिवेशन’ का आयोजन किया गया है।”

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