अलवर, 11 अक्टूबर। राजस्थान इन्टेलीजेन्स ने पाकिस्तान की आईएसआई के लिए जासूसी करने वाले अलवर निवासी मंगत सिंह को शासकीय गुप्त बात अधिनियम 1923 में गिरफ्तार किया है। पाकिस्तान के दो नंबरों से मंगत सिंह एक साल से संपर्क में था और उनको अलवर सेना कैंट सहित सेना की प्रमुख जानकारियां भेज रहा था।
इसके एवज में पाकिस्तान से उसे कई बार मोटी रकम भी मिली है। यह अब भी उनके संपर्क में था और लगातार जानकारियां शेयर कर रहा था। इंटेलिजेंस की जांच पड़ताल में सामने आया कि एक नंबर हनी ट्रैप से जुड़ा हुआ है। जबकि दूसरा नंबर पाकिस्तान का है। उसकी जांच चल रही है।
आपरेशन सिन्दूर के बाद राजस्थान इंटेलिजेन्स द्वारा प्रदेश के सामरिक महत्व के क्षेत्रों पर गहनता से निगरानी रखी जा रही है। अलवर राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र का अतिमहत्वपूर्ण सामरिक एवं संवेदनशील क्षेत्र है। अलवर स्थित छावनी क्षेत्र की निगरानी के दौरान गोविन्दगढ अलवर निवासी मंगत सिंह की गतिविधियां संदिग्ध पाई गई।
बीते दो वर्षों से मंगत सिंह पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी के हेण्डलरों से सोशलमीडिया के माध्यम से सम्पर्क में था। मंगत सिंह द्वारा ऑपरेशन सिंदूर के पूर्व व पश्चात् महिला पाक हैण्डलर छद्म नाम ईशा शर्मा से हनीट्रैप व धनराशि के लालच में सोशल मीडिया के माध्यम से अलवर शहर की अतिमहत्वपूर्ण छावनी इलाके एवं देश के अन्य सामरिक स्थलों की महत्वपूर्ण सूचनाएं उन्हें निरन्तर साझा की जा रही थी।
10 अक्टूबर को किया गिरफ्तार
केन्द्रीय पूछताछ केन्द्र जयपुर पर विभिन्न इन्टेलीजेन्स एजेन्सियों द्वारा की गई। पूछताछ एवं उसके मोबाईल के तकनीकी परीक्षण पर उपरोक्त तथ्यों की पुष्टि होने पर 10 अक्टूबर को थाना स्पेशल पुलिस स्टेशन जयपुर पर मंगत सिंह के विरूद्ध शासकीय गुप्त बात अधिनियम 1923 के तहत मुकदमा दर्ज कर सीआईडी इन्टेलीजेन्स राजस्थान द्वारा गिरफ्तार किया गया।
जांच अधिकारी ने क्या कहा
इंटेलिजेंस के डीआईजी राजेश मील ने बताया कि मंगत सिंह लंबे समय से पाकिस्तान के दो नंबरों के संपर्क में था और उनका लगातार सेना से जुड़ी हुई जानकारियां भेज रहा था। यह सिलसिला अब भी लगातार जारी था। इसके एवज में उसे वहां से मोटी रकम मिल रही थी। कई बार उसको पैसे ट्रांसफर हुए हैं। लगातार उससे पूछताछ की जा रही है और पूछताछ के दौरान कई बड़े खुलासे हो रहे हैं।
अलवर सेना मुख्यालय की भेजी जानकारियां
अभी तक कि जांच में सामने आया है कि पाकिस्तान के लिए जासूसी का काम करने वाले एजेंट ने अलवर सेना मुख्यालय सहित सेना के अलग-अलग क्षेत्र की जानकारी पाकिस्तान की आईएसआई को भेजी है। साथ ही कई महत्वपूर्ण जानकारियां भी यह सेना से जुड़ी हुई भेज चुका है।
मिली मोटी रकम, हनी ट्रैप में भी फंसा
राजपाटन में सामने आया है की जासूसी के लिए मंगत सिंह को आईएसआई व पाकिस्तान से कई बार मोटी रकम मिली है। कितनी बार और किस माध्यम से पैसे मंगत सिंह तक पहुंचे हैं। इसकी इंटेलिजेंस व खुफिया एजेंसी जांच पड़ताल कर रही है। जांच में सामने आया कि हनी ट्रैप में भी मंगत सिंह फंसा हुआ था और उसके माध्यम से भी सेना की जरूरी जानकारियां भेज रहा था।

