हिम्मतनगर (गुजरात), 26 अप्रैल। उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश व दिल्ली के बाद अब गुजरात की सड़कों पर भी बुलडोजर निकल पड़े हैं। इस क्रम में राज्य के हिम्मतनगर में नगर निगम ने अवैध ढांचों को गिरने के लिए अतिक्रमण विरोधी अभियान शुरू किया है। अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
गौरतलब है कि गत 10 अप्रैल को साबरकांठा के हिम्मतनगर शहर के छपरिया इलाके में रामनवमी पर सांप्रदायिक हिंसा भड़क गई थी। यह हिंसा उस वक्त हुई, जब दो सुमदाय के लोगों ने एक दूसरे पर पथराव किया। इन घटनाओं में कुछ लोग घायल हो गए थे।
हिम्मतनगर में रामनवमी पर भड़क गई थी सांप्रदायिक हिंसा
अधिकारियों ने बताया कि साबरकांठा के हिम्मतनगर शहर के छपरिया इलाके में अतिक्रमण को हटाने के लिए बुलडोजरों का इस्तेमाल किया जा रहा है। पुलिस अधीक्षक विशाल वाघेला ने कहा, ‘नगर निगम ने छपरिया इलाके में अतिक्रमण ढहाने का काम शुरु कर दिया है। यह स्थान उस जगह के निकट है, जहां रामनवमी पर सांप्रदायिक हिंसा हुई थी। क्षेत्र में पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था की गई है।’
उल्लेखनीय है कि उत्तर प्रदेश में योगी सरकार गुंडों, माफिया और अराजक तत्वों के खिलाफ चलाए जाने वाले बुलडोजर अभियान के लिए विख्यात है। सीम योगी आदित्यनाथ को तो बुलडोजर बाबा के नाम से भी पुकारा जाने लगा है।
एमपी के खरगोन व बड़वानी में रामनवमी पर हुई थी हिंसा
वहीं मध्य प्रदेश के खरगोन और बड़वानी में रामनवमी के जुलूस पर पथराव किए जाने के बाद हिंसा भड़क उठी थी। हिंसा में छह पुलिसकर्मियों सहित कम से कम 24 लोग घायल हुए थे। बाद में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के निर्देश पर जिला प्रशासन और पुलिस ने जुलूस पर हुए हमले में शामिल लोगों के अवैध निर्माण को गिरा दिया और करीब 45 घरों और दुकानों पर बुलडोजर चलाया।
दिल्ली के जहांगीरपुरी इलाके में बुलडोजर अभियान सुप्रीम कोर्ट के आदेश से रुका
दिल्ली की बात करें तो जहांगीरपुर इलाके में हनुमान जयंती के दिन शोभायात्रा के दौरान सांप्रदायिक हिंसा भड़क गई थी, जिसमें आठ पुलिसकर्मी सहित नौ लोग घायल हो गए थे। यहां भी उत्तरी दिल्ली नगर निगम ने बुलडोजर से कुछ आरोपितों के अवैध निर्माण गिराना शुरू किया था, लेकिन सुप्रीम कोर्ट के हस्तक्षेप से वहां अभियान रोकना पड़ा।