लखनऊ, 18 अप्रैल। प्रयागराज में माफिया अतीक अहमद और अशरफ की पुलिस सुरक्षा में हत्या का मामला राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) भी पहुंच गया है। इस क्रम में एनएचआरसी ने यूपी के डीजीपी के साथ ही प्रयागराज के पुलिस कमिश्नर को नोटिस भेजी है और चार हफ्ते में विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। अतीक और अशरफ की गत 15 अप्रैल की रात प्रयागराज में काल्विन अस्पताल में मेडिकल के लिए लाए जाने के दौरान गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।
अतीक व अशरफ की हत्या का मामला मंगलवार को ही एनएचआरसी पहुंचा। इसके बाद यूपी के डीजीपी और प्रयागराज के पुलिस कमिश्नर को नोटिस जारी कर रिपोर्ट तलब की गई है। नोटिस में लिखा है कि राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने अतीक अहमद और अशरफ की हत्या के आरोप वाली शिकायतों का संज्ञान लिया है। आयोग ने चार हफ्ते में पूरे घटनाक्रम की रिपोर्ट तलब की है। इसमें पुलिस से प्वाइंट में रिपोर्ट मांगी गई है।
एनएचआरसी ने ये ब्योरा मांगा
एनएचआरसी ने हत्याकांड का पूरा ब्योरा देने के साथ ही दोनों को गिरफ्तार करने और हिरासत में लेने का समय और अन्य पहलुओं के बारे में जानकारी उपलब्ध कराने को कहा है। दोनों के खिलाफ दर्ज एफआईआर और शिकायतों की कॉपी भी मांगी गई है। यह भी पूछा गया है कि क्या गिरफ्तारी की सूचना परिवार/रिश्तेदारों को दी गई थी? अब तक जब्त किए गए सामानों के बारे में भी ब्योरा मांगा गया है।
इसके साथ ही अतीक और अशरफ के मेडिकल और कानूनी प्रमाण पत्र की प्रति भी मांगी गई है। इसके अलावा अब तक हुई जांच रिपोर्ट के साथ ही दोनों की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट भी मांगी गई है। पोस्टमार्टम के दौरान की वीडियो भी देना है। एफएसएल रिपोर्ट के आधार पर मौत का कारण भी पूछा गया है। इसके साथ ही 2005 के अधिनियम 25 द्वारा संशोधित सीआरपीसी की धारा 176(1-ए) के तहत मजिस्ट्रियल जांच रिपोर्ट भी तलब की गई है।
गौरतलब है कि उमेश पाल हत्याकांड में अतीक और अशरफ को पुलिस ने चार दिन की रिमांड पर लिया था। पुलिस दोनों को अपनी कस्टडी में लेकर असलहे आदि की बरामदी के लिए निकली थी। शनिवार की रात दोनों को मेडिकल के लिए काल्विन अस्पताल लाया गया। इसी दौरान मीडियाकर्मी के रूप में आए तीन हमलावरों ने दोनों को गोली मार दी। ताबड़तोड़ फायरिंग में दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। हमलावरों को भी मौके से पकड़ लिया गया था।