देहरादून, 22 अगस्त। उत्तराखंड में लगातार हो रही बारिश के बाद भूस्खलन से बदरीनाथ और गंगोत्री हाईवे बंद हो गया है। भारी बारिश की वजह से प्रदेशभर में 200 से ज्यादा सड़कों पर यातायात ठप पड़ गया है। हाईवे बंद होने की वजह से जगह-जगह उत्तराखंड चार धाम यात्रा पर निकले यात्री फंस गए हैं।
तीर्थ यात्रियों से अपील – मौसम पूर्वानुमान पर अपडेट लेकर ही चार धाम यात्रा पर जाएं
वहीं दूसरी ओर उत्तराखंड मौसम पूर्वानुमान में बारिश पर अलर्ट जारी किया गया है। ऐसे में अब चार धाम यात्रा पर जाने वाले तीर्थ यात्रियों से अपील की गई है कि यात्रा पर जाने से पहले मौसम पूर्वानुमान पर अपडेट लेकर ही जाएं। साथ ही, तय समयसीमा पर अपने गंतव्य पर जरूर पहुंचे।
उल्लेखनीय है कि मंगलवार सुबह भारी बारिश के चलते मलबा गिरने से ऋषिकेश-गंगोत्री एवं ऋषिकेश-बदरीनाथ हाईवे बाधित हो गया। गंगोत्री हाईवे पर नरेंद्र नगर और कुंजापुरी के पास मलबा लगातार गिर रहा है जबकि बदरीनाथ हाईवे पर व्यासी और तोताघाटी में पहाड़ से मलबे के साथ पत्थर गिर रहे हैं, जिसके चलते वाहनों की आवाजाही ठप है। पुलिस ने वाहनों को ऋषिकेश में ही रोक लिया है। ऐसे में चार धाम यात्रा पर जाने वाले तीर्थ यात्रियों का शेड्यूल खराब हो रहा है जबकि कुछ वाहन वाले वापस लौटकर वैकल्पिक मार्गों से आ जा रहे है।
मौसम पूर्वानुमान में 7 जिलों में दो दिन भारी बारिश का अलर्ट
उत्तराखंड मौसम पूर्वानुमान में सात जिलों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया है। आपदा प्रबंधन विभाग ने टिहरी, बागेश्वर समेत प्रदेश के सात जिलों में मंगल और बुधवार को बारिश का अलर्ट जारी कर दिया। आपदा कंट्रोल रूम ने टिहरी, देहरादून, पौड़ी गढ़वाल, बागेश्वर, चम्पावत, नैनीताल एवं यूएसनगर के डीएम को पत्र जारी किए और सतर्कता बरतने के निर्देश दिए हैं।
बदरी-केदार देवरा यात्रा के लिए निकली राज राजेश्वरी
इस बीच केदारघाटी के लमगौंडी गांव से बदरी केदार देवरा यात्रा के लिए मां राजराजेश्वरी व बाणासुर महाराज की देव डोलियों ने प्रस्थान किया। देव डोलियां तीन दिनों तक लमगौंडी गांव में भ्रमण करने के बाद 24 अगस्त को बाबा विश्वनाथ की नगरी गुप्तकाशी में रात्रि विश्राम करेंगी।
देव डोलिया 25 अगस्त को रात्रि प्रवास फाटा, 26 अगस्त को सीतापुर, 27 अगस्त को शिव पार्वती विवाह स्थल त्रियुगीनारायण, 28 अगस्त को गौरीमाई मंदिर गौरीकुंड, 29 से 31 अगस्त तक केदारनाथ धाम में, 1 सितम्बर को काली मंदिर कालीमठ, 2-3 सितम्बर को बैकुंठ धाम बदरीनाथ में रात्रि विश्राम करेंगे। उसके बाद 4 सितम्बर को वापसी गुप्तकाशी में, 5 सितम्बर को को अपने पौराणिक गांव लमगौंडी में व 6 सितम्बर को हवन व पूर्णाहुति के साथ देवरा यात्रा सम्पन्न होगी। देव डोलियों के साथ सैकड़ों की संख्या में भक्त मौजूद हैं।