नई दिल्ली, 24 सितम्बर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की बुधवार को हुई बैठक में कई अहम फैसले किए गए। मसलन, रेलवे कर्मचारियों के लिए प्रोडक्टिविटी बोनस (पीएलबी) को मंजूरी दी गई तो वहीं शिपब्लिडिंग के लिए नया रिफॉर्म लाया गया है, जो करीब 70 हजार करोड़ रुपये का है। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कैबिनेट बैठक में हुए फैसले के बारे में जानकारी दी।
10.90 लाख कर्मचारियों को दिवाली गिफ्ट, 78 दिनों के हिसाब से बोनस
मोदी कैबिनेट ने रेलवे कर्मचारियों को दिवाली से पहले ही बड़ा तोहफा देते हुए प्रोडक्टिविटी बेस्ड बोनस की मंजूरी दे दी है। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि रेलवे के 10.90 लाख कर्मचारियों को 78 दिनों की प्रोडक्टिविटी से जुड़े बोनस के रूप में 1865.68 करोड़ रुपये के भुगतान को मंजूरी प्रदान की गई है।
पहले से हो रही थी बोनस की मांग
भारतीय रेलवे कर्मचारी महासंघ (IREF) ने कहा था कि बोनस में बढ़ोतरी और मंजूरी जल्द की जानी चाहिए। अभी 7,000 रुपये प्रति माह के आधार पर उत्पादकता से जुड़ा बोनस दिया जा रहा है, लेकिन इसे 18,000 रुपये प्रति माह के आधार पर बोनस दिया जाना चाहिए।
पीएलबी की अधिकतम देय राशि 17,951 रुपये
रेल मंत्रालय के आधिकारिक बयान के अनुसार पीएलबी का भुगतान रेलवे के प्रदर्शन में सुधार की दिशा में काम करने के लिए रेलवे कर्मचारियों को प्रेरित करने हेतु एक प्रोत्साहन के रूप में कार्य करता है। प्रत्येक पात्र रेलवे कर्मचारी के लिए 78 दिनों के वेतन के बराबर पीएलबी की अधिकतम देय राशि 17,951 रुपये है।
वर्ष 2024-25 में रेलवे का प्रदर्शन बहुत अच्छा रहा
उपरोक्त राशि का भुगतान विभिन्न श्रेणियों के रेलवे कर्मचारियों जैसे-ट्रैक मेंटेनर, लोको पायलट, ट्रेन मैनेजर (गार्ड), स्टेशन मास्टर, पर्यवेक्षक, तकनीशियन, तकनीशियन हेल्पर, पॉइंट्समैन, मिनिस्ट्रियल स्टाफ और अन्य ग्रुप ‘सी’ कर्मचारियों को किया जाएगा। उल्लेखनीय है कि वर्ष 2024-25 में रेलवे का प्रदर्शन बहुत अच्छा रहा। रेलवे ने 1614.90 मिलियन टन का रिकॉर्ड माल लादा तथा लगभग 7.3 बिलियन यात्रियों को ढोया।
जहाज निर्माण और समुद्री क्षेत्र के लिए 69,725 करोड़ का रिफॉर्म
अश्विनी वैष्णव ने बताया कि कैबिनेट ने भारत के जहाज निर्माण और समुद्री क्षेत्र को पुनर्जीवित करने के लिए 69,725 करोड़ रुपये के रिफॉर्म पैकेज को मंजूरी दी, जिसमें जहाज निर्माण, समुद्री फंडिंग और घरेलू क्षमता को बढ़ावा देने पर केंद्रित एक व्यापक 4-स्तंभ नजरिया शामिल है।
Comprehensive 4-Pillar Approach to Strengthen Shipbuilding, Maritime Financing, and Domestic Capacity
🔰 Cabinet approves Rs.69,725 crore Package to Revitalize India’s Shipbuilding and Maritime Sector
🔰 Shipbuilding Financial Assistance Scheme extended until 31st March 2036… pic.twitter.com/x4OiXtWQBB
— PIB India (@PIB_India) September 24, 2025
104 किमी रेलवे लाइन पर डबलिंग होगी, बिहार के 4 जिलो को कवर करेगी
कैबिनेट बैठक में बख्तियारपुर-राजगीर-तिलैया के बीच सिंगल रेलवे लाइन है, जिसे डबल करने की मंजूरी दी गई है। बिहार के करीब 104 किलोमीटर पर रेलवे लाइन डबल करने के काम को मंजूरी मिली है, जिसकी लागत 2,192 करोड़ रुपये है। बिहार राज्य के चार जिलों को कवर करने वाली यह परियोजना भारतीय रेलवे के मौजूदा नेटवर्क को लगभग 104 किलोमीटर तक बढ़ा देगी।
परियोजना खंड राजगीर (शांति स्तूप), नालंदा, पावापुरी आदि जैसे प्रमुख स्थलों को भी रेल संपर्क प्रदान करता है, जिससे देशभर से तीर्थयात्री और पर्यटक आकर्षित होंगे। मल्टी-ट्रैकिंग परियोजनाओं से लगभग 1,434 गांवों और लगभग 13.46 लाख आबादी और दो आकांक्षी जिलों (गया और नवादा) तक कनेक्टिविटी बढ़ेगी।
➡️ #Cabinet approves Construction of 4-lane Sahebganj-Areraj-Bettiah section of the NH-139W in Bihar on Hybrid Annuity Mode (HAM) with a total project length of 78.942 km worth Rs.3,822.31 crore
➡️ The proposed four-lane greenfield project is to improve connectivity between… pic.twitter.com/4dWWazVPnJ
— PIB India (@PIB_India) September 24, 2025
बिहार में ही 4 लेन कंस्ट्रक्शन को मंजूरी
कैबिनेट ने बिहार में NH-139W के साहेबगंज-अरेराज-बेतिया खंड के हाइब्रिड एन्युइटी मोड (HAM) पर 4-लेन कंस्ट्रक्शन को मंजूरी दी है। इस प्रोजेक्ट की कुल लंबाई 78.942 किलोमीटर होगी और इसकी लागत 3,822.31 करोड़ रुपये होगी। प्रस्तावित 4 लेन ग्रीनफील्ड प्रोजेक्ट का उद्देश्य राज्य की राजधानी पटना और बेतिया के बीच कनेक्टिविटी को बेहतर बनान है, जो उत्तर बिहार के वैशाली, सारण, सीवान, गोपालगंज, मुजफ्फरपुर, पूर्वी चंपारण और पश्चिमी चंपारण जिलों को भारत-नेपाल सीमा से लगे क्षेत्रों तक जोड़ेगा।

