यरूशलम, 26 अक्टूबर। इजराइल ने शुक्रवार को मध्यरात्रि से लेकर शनिवार को तड़के तक कई चरणों में ईरान पर जबर्दस्त हवाई हमले किए। तेहरान में जोरदार धमाकों की आवाजें सुनते ही लोग घरों से निकलकर सड़कों पर आ गए। इजराइल ने इस ऑपरेशन को ‘डेज ऑप रिपेंटेंस’ नाम दिया है।
इजराइल ने 2000 किलोमीटर की दूरी पर किए गए इस हमले के लिए 100 से ज्यादा लड़ाकू विमानों का इस्तेमाल किया। इसमें अत्याधुनिक एफ-35 स्टील्थ फाइटर भी शामिल थे। वैसे, ईरान ने इजराइल के हमलों में सीमित क्षति होने की बात कही है।
माना जा रहा है कि गत एक अक्टूबर को ईरान की ओर से किए गए मिसाइल हमले का इजरायल ने अब जवाब दिया है। हालांकि इन हमलों से भड़के ईरान ने इजराइल को जवाब के लिए तैयार रहने की धमकी दी है। फिलहाल जवाबी काररवाई की ईरान की धमकी पर अमेरिका ने भी उसे चेतावनी दी है।
इजराइली सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने इस बात पर जोर देते हुए कहा कि ये हमले व्यापक, सीधे निशाने पर और बिल्कुल सटीक थे। इसके साथ ही उन्होंने ईरान को जवाबी काररवाई करने पर इसके संभावित परिणाम भुगतने की चेतावनी दी। इजराइल के इस अभियान के बारे में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन को पूरी जानकारी थी। हालांकि, अमेरिकी प्रशासन ने ये साफ किया कि इजराइल के इन हमलों में अमेरिका की कोई भागीदारी नहीं है।
यह इजराइली अभियान केवल ‘आत्मरक्षा का अभ्यास‘
अमेरिका की ओर से कहा गया है कि एक अक्टूबर को ईरान ने इजराइल पर लगभग 200 मिसाइलें दागी थीं। इसके बाद इजराइल ने अभियान चलाकर आत्मरक्षा का अभ्यास किया है। इजराइली डिफेंस फोर्स (IDF) ने ईरान और उसके सहयोगियों के किए गए हमलों का जवाब दिया है।
बाइडेन प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने संकेत देते हुए बताया कि अमेरिका ने किसी हमले में भाग नहीं लिया, लेकिन वह इजराइल के साथ चर्चाओं में सक्रिय रूप से शामिल रहा था और हमले के दौरान नागरिकों की कम से कम क्षति के साथ लक्ष्य पर बिल्कुल सटीक जवाब देने को प्रोत्साहित कर रहा था।