पेरिस, 5 अगस्त। ओलम्पिक के अपने पहले ही प्रवेश में पदक की दौड़ में शामिल होने के साथ इतिहास रचने वाले दमदार भारतीय शटलर लक्ष्य सेन सोमवार को यहां पेरिस 2024 के पुरुष एकल कांस्य पदक मैच में पहला गेम जीतने के बावजूद चोटिल कोहनी की तकलीफ बढ़ने से रिद्म खो बैठे और विश्व नंबर सात मलेशियाई स्पर्धी ली जी जिया के हाथों तीन गेमों मे पराजय के चलते उन्हें चौथे स्थान से संतोष करना पड़ा।
PROUD OF YOU LAKSHYA 👏
The journey till here wasn’t easy at all. Lakshya’s determination has taken him so far. Some very good wins against seeded opponents to be proud of and lots of positives to take from #Paris2024!
📸: @badmintonphoto#IndiaAtParis24#Badminton pic.twitter.com/2xExEIaCWL
— BAI Media (@BAI_Media) August 5, 2024
पेरिस खेलों की बैडमिंटन स्पर्धा से भारतीय चुनौती समाप्त
ला चैपल एरिना के कोर्ट नंबर एक पर गैर वरीय सेन ने पहला गेम जीतने के बाद दूसरे गेम के मध्य में कोर्ट से नियंत्रण खो दिया और ली जी जिया ने 71 मिनट की कश्मकश 13-21, 21-16, 21-11 से जीतकर कांस्य पदक पर नाम लिखा लिया। सेन की हार के साथ ही पेरिस खेलों की बैडमिंटन स्पर्धा से पदक के बिना भारत की चुनौती समाप्त हो गई, जिसे टोक्यो 2020 में पीवी सिंधु ने महिला एकल में कांस्य पदक दिलाया था।
🇮🇳🙌 𝗔 𝗠𝗘𝗠𝗢𝗥𝗔𝗕𝗟𝗘 𝗖𝗔𝗠𝗣𝗔𝗜𝗚𝗡! It has truly been a campaign to remember for Lakshya Sen as he records the best-ever finish by an Indian shuttler in the men's singles event at the Olympics.
👏 Kudos to him for making it this far in his debut Olympic campaign.
— India at Paris 2024 Olympics (@sportwalkmedia) August 5, 2024
विक्टर एक्सेलसेन ने स्वर्ण पदक का सफल बचाव किया
इस बीच गत चैम्पियन व विश्व नंबर दो डेनिस महारथी विक्टर एक्सेलसेन ने लगातार दूसरी बार स्वर्ण पदक पर अधिकार कर लिया। 24 घंटे पहले ही लक्ष्य सेन के खिलाफ 54 मिनट तक खिंचे संघर्षपूर्ण सेमीफाइनल में जीत हासिल करने वाले दूसरी सीड एक्सेलसेन ने आठवें वरीय थाईलैंड के कुनलावुत विटिडसार्न को 52 मिनट में 21-11 21-11 से हराकर उपाधि बचाई।
सेन ने पहला गेम धमाकेदार अंदाज में जीता
BWF विश्व रैंकिंग में 22वें नंबर के खिलाड़ा लक्ष्य सेन की बात करें तो उन्होंने ली जी जिया के खिलाफ धमाकेदार अंदाज में मैच की शुरुआत की और देखते ही देखते 11-5 से लीड बना ली। इस वर्ष ऑल इंग्लैंड ओपन में हार सहित लक्ष्य के खिलाफ 1-4 का मैच रिकॉर्ड लेकर उतरे ली जिया ने वापसी का प्रयास किया, लेकिन भारतीय शटलर ने बड़ी आसानी से 20 मिनट में पहला गेम अपने नाम कर लिया।
दूसरे गेम के दौरान लक्ष्य का रिद्म गड़बड़ा गया
दूसरे गेम में भी लक्ष्य का आक्रामक अंदाज दिखा, जब बिना गलती उन्होंने 8-3 से एकतरफा बढ़त बना ली। लेकिन तभी लक्ष्य की दाई कोहनी की तकलीफ बढ़ चुकी थी। बस फिर क्या था, मलेशियाई शटलर ने बेहतरीन वापसी की और लगातार आठ अंक लेने के साथ ब्रेक के वक्त 11-8 की बढ़त हासिल कर ली। ली के पक्ष में स्कोर 19-16 था, तभी लक्ष्य ने कोहनी का उपचार कराया। हालांकि ली जिया ने 26 मिनट में गेम जीतकर मुकाबला तीसरे गेम में धकेल दिया।
निर्णायक गेम में लक्ष्य पर चोट का असर गहराने लगा था जबकि मलेशियाई शटलर ने शुरुआत से ही बढ़त बनाए रखी। इसी बीच लक्ष्य ने दूसरा मेडिकल ब्रेक लिया। तब तक खेल का रुख पूरी तरह बदल चुका था और ली जी जिया ने आसानी से जीत हासिल कर ली। इस तरह लक्ष्य अपने पहले ही ओलम्पिक में ऐतिहासिक कांस्य पदक जीतने से वंचित रह गए।
लक्ष्य बोले – चोट ने परिणाम में भूमिका निभाई
मैच के बाद सेन ने स्वीकार किया कि चोट ने परिणाम में भूमिका निभाई। उन्होंने जियो सिनेमा से कहा, ‘प्वॉइंट्स के बीच में, फर्श पर खून फैला हुआ था और मैं गति खो रहा था।’