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भारत में इस वर्ष सामान्य मानसून रहने की संभावना : आईएमडी

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नई दिल्ली, 1 जून। बीते माह दो चक्रवाती तूफानों (ताउते और यास) का दंश झेल चुके भारत में इस बार सामान्य मानसून रहने के आसार हैं। ऐसा भारतीय मौसम विज्ञान विभाग का कहना है। इस क्रम में दक्षिण-पश्चिम मानसून के उत्तर व दक्षिण भारत में सामान्य, मध्य भारत में सामान्य से अधिक और पूर्व व पूर्वोत्तर भारत में सामान्य से कम रहने का अनुमान है।

आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने दक्षिण पश्चिम मानसून 2021 के लिए अपना दूसरा दीर्घावधि पूर्वानुमान जारी करते हुए बताया कि देश में जून में मानसून सामान्य रहने का पूर्वानुमान है, जो बुआई का भी मौसम होता है।

महापात्र ने ऑनलाइन ब्रीफिंग में कहा, ‘हम अच्छे मानसून की उम्मीद कर रहे हैं, जिससे कृषि क्षेत्र को मदद मिलेगी। मात्रात्मक रूप से देश में मानसून की बारिश के दीर्घावधि औसत (एलपीए) का 101 प्रतिशत रहने की संभावना है,  जिसमें चार प्रतिशत कम या ज्यादा की आदर्श त्रुटि हो सकती है।’

एलपीए के 96 से 104 प्रतिशत के दायरे में मानसून को सामान्य माना जाता है। वर्ष 1961-2010 अवधि के लिए पूरे देश में मानसून की बारिश का एलपीए 88 सेंटीमीटर है।

आईएमडी ने दक्षिण पश्चिम मानसून 2021 के लिए पहले दीर्घावधि पूर्वानुमान में एलपीए की 98 प्रतिशत बारिश होने का अनुमान व्यक्त किया था, जो सामान्य श्रेणी में आता है। लेकिन अब उसने अपने पूर्वानुमान को एलपीए का 101 प्रतिशत कर दिया है, जो सामान्य श्रेणी में उच्च स्तर की ओर है।

महापात्र ने कहा कि 40 प्रतिशत संभावना सामान्य बारिश की है, 22 प्रतिशत संभावना सामान्य से अधिक वर्षा की है, 12 प्रतिशत संभावना अत्यधिक बारिश होने की है और 18 प्रतिशत संभावना सामान्य से कम बारिश की है।

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