नई दिल्ली, 1अक्टूबर। भारत और जमैका ने आज डिजिटल इन्फ्रास्ट्रक्चर, सांस्कृतिक आदान-प्रदान और खेलों के क्षेत्र में सहयोग से संबंधित समझौता ज्ञापनों का आदान-प्रदान किया। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और भारत की यात्रा पर आए जमैका के प्रधानमंत्री डॉक्टर एंड्रृयू हॉलनेस के बीच नई दिल्ली में शिष्टमंडल स्तर की वार्ता के बाद इन समझौता ज्ञापनों का आदान-प्रदान किया गया।
प्रधानमंत्री मोदी ने संयुक्त प्रेस वक्तव्य में कहा कि डॉ. हॉलनेस अपनी पहली द्विपक्षीय यात्रा पर आए हैं और भारत उनकी यात्रा को विशेष महत्व देता है। उन्होंने कहा कि भारत और जमैका के संबंध साझा इतिहास, लोकतांत्रिक मूल्यों और दोनों देशों के लोगों के बीच मजबूत संबंधों पर आधारित हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत डिजिटल पब्लिक इन्फ्रास्ट्रक्चर, लघु उद्योगों, जैव ईंधन, नवाचार, शिक्षा, स्वास्थ्य और कृषि के क्षेत्र में अपने अनुभव जमैका के साथ साझा करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि भारत जमैका की सेना के प्रशिक्षण और क्षमता निर्माण की दिशा में भी आगे कदम उठाएगा। संगठित अपराध, मादक पदार्थ तस्करी और आतंकवाद के बारे में प्रधानमंत्री ने कहा कि यह साझा चुनौती हैं और दोनों पक्षों ने इनका मिलकर मुकाबला करने पर सहमति जताई है।
श्री मोदी ने कहा कि दोनों पक्ष वैश्विक शांति और स्थिरता सुनिश्चित करने के अपने प्रयासों को जारी रखेंगे। उन्होंने कहा कि भारत और जमैका का मानना है कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद सहित सभी वैश्विक संस्थानों में सुधार जरूरी है।
प्रधानमंत्री ने बताया कि भारत ने नई दिल्ली में जमैका उच्चायोग के सामने की सड़क का नाम जमैका मार्ग रखने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि भारत और जमैका के बीच भले ही विशाल समुद्र हो, लेकिन हमारे लोग, हमारी संस्कृति और इतिहास एक-दूसरे से जुडे हैं।
जमैका के प्रधानमंत्री ने कहा कि जमैका ने भारत के साथ मजबूत संबंधों को आजादी के बाद से ही महत्व दिया है। उन्होंने कहा कि भारतीयों ने करीब दो सदी पहले जमैका में दस्तक दी थी और उन्होंने स्वास्थ्य, शिक्षा, सूचना प्रौद्योगिकी और व्यवसाय के विभिन्न क्षेत्रों में जमैका के विकास में योगदान दिया है।