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बृजभूषण शरण सिंह के लिए खाप पंचायतों से भिड़ंत की तैयारी, अयोध्या के साधु-संतों की 5 जून को जन चेतना रैली

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लखनऊ, 30 मई। भारतीय कुश्ती महासंघ (डब्ल्यूएफआई) के अध्यक्ष और भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी की मांग को लेकर आंदोलनरत देश के कई शीर्ष पहलवानों के समर्थन में एक तरह जहां पश्चिमी यूपी व हरियाण की कई खाप पंचायतें खुलकर मैदान में आ चुकी हैं वहीं अब इन खाप पंचायतों को अयोध्या के साधु-संतों ने सीधी टक्कर देने की तैयारी कर ली है।

दरअसल, साधु-संतों ने बृजभूषण शरण सिंह के समर्थन में पांच जून को अयोध्या के राम कथा पार्क में जन चेतना महारैली का आयोजन किया है। रैली का आयोजन भले ही बृजभूषण शरण सिंह और उनके समर्थक कर रहे हैं, लेकिन इसे मेगा शो बनाने का काम अयोध्या के साधु-संत कर रहे हैं।

राममंदिर आंदोलन के दौरान जाना माना चेहरा रहे हैं बृजभूषण

गौरतलब है कि अयोध्या के साकेत पीजी कॉलेज से पहली बार ही बृजभूषण शरण सिंह छात्रसंघ के महासचिव बने और हनुमान गढ़ी मंदिर के पुजारियों की चौकस निगाहों में कुश्ती का अभ्यास करते हुए राजनीति का ककहरा भी सीखा था। राममंदिर आंदोलन के दौरान भी बृजभूषण शरण सिंह जाना माना चेहरा थे।

वाराणसी, हरिद्वार और मथुरा सहित अन्य जगहों के साधु-संत भी रैली में शामिल होंगे

प्रस्तावित रैली में वाराणसी, हरिद्वार और मथुरा सहित अयोध्या के मणि राम दास छावनी पीठ के अनुयायी भी शामिल होंगे। अपने मतभेदों को भुलाते हुए अयोध्या के संत बृजभूषण शरण सिंह को समर्थन देने के लिए एक मंच पर आ गए हैं। महंत कमल नयन दास के नेतृत्व वाले सर्व-शक्तिशाली मणि राम दास छावनी पीठ और महंत मैथिली रमन शरण के नेतृत्व वाले लक्ष्मण किला गुट ने सिंह के पीछे अयोध्या के संतों के एकजुट मोर्चे को पेश करने के लिए अपने मतभेदों को फिलहाल अलग रख दिया है।

अयोध्या के एक प्रमुख संत का कहना है कि बृजभूषण अयोध्या में लंबे समय से जुड़े हुए हैं। कॉलेज के दिनों से लेकर मुख्यधारा की राजनीति और राम मंदिर आंदोलन तक उन्होंने अपने जीवन का लंबा हिस्सा अयोध्या में बिताया है। वह तब एक स्थानीय निवासी थे और संतों, विशेष रूप से हनुमान गढ़ी मंदिर के साधुओं का उन्हें आशीर्वाद मिलता रहा।

बृजभूषण के समर्थन में विभिन्न गुटों के संत एक साझा मंच पर आ गए हैं

कमल नयन श्री राम जन्मभूमि तीरथ क्षेत्र ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास के उत्तराधिकारी हैं। उन्होंने कहा कि अयोध्या में बृजभूषण का दबदबा ऐसा है कि विभिन्न गुटों के संत उनका समर्थन करने के लिए एक साझा मंच पर आ गए हैं। बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ सभी आरोप राजनीति से प्रेरित और फर्जी हैं। महंत कमल नयन दास ने कहा, ‘हम इस विवाद के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ जांच और काररवाई की मांग करते हैं।’

कारसेवकपुरम में वीएचपी कैडर भी रैली के लिए जुटा रहा समर्थन

राम मंदिर आंदोलन के केंद्र अयोध्या के कारसेवकपुरम में वीएचपी कैडर भी अयोध्या में सिंह की पांच जून की रैली के लिए समर्थन जुटा रहा है। हालांकि, यह सभी समर्थन अनौपचारिक है। कारसेवकपुरम में स्थित एक विहिप पदाधिकारी ने कहा, ‘बृजभूषण शरण की रैली के लिए संगठन (वीएचपी) से कोई निर्देश नहीं है। हम जो कुछ भी कर रहे हैं, वह राम मंदिर आंदोलन के साथ उनके करीबी जुड़ाव के कारण कर रहे है। हरियाणा की कई खापों और राकेश टिकैत के नेतृत्व वाले पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसान संगठनों ने नई दिल्ली में जंतर मंतर पर विरोध कर रहे पहलवानों को अपना समर्थन देने के बाद बृजभूषण के लिए संतों को और अधिक महत्वपूर्ण बना दिया है।’

पॉक्सो एक्ट में संशोधन की भी उठाई मांग

अयोध्या के एक प्रमुख संत ने कहा कि संत यौन अपराधों से बच्चों के संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम में संशोधन की भी मांग कर रहे हैं। महंत कमल नयन दास ने मांग की कि पॉक्सो एक्ट का दुरुपयोग कर निर्दोष लोगों को परेशान किया जा रहा था। उनके खिलाफ, विशेष रूप से संतों, महंतों और राजनेताओं पर झूठे आरोप लगाए जा रहे हैं। इसमें संशोधन किया जाना चाहिए।