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इतिहास पुरुष रोहन बोपन्ना ने कहा – ‘निःसंदेह, यह मेरे करिअर का सर्वश्रेष्ठ क्षण है’

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मेलबर्न, 27 जनवरी। मेलबर्न पार्क में शनिवार की रात इतिहास रचने वाले भारतीय टेनिस स्टार रोहन बोपन्ना ने पहली बार ग्रैंड स्लैम पुरुष युगल उपाधि जीतने के बाद कहा कि यह उनके जीवन का सर्वाधिक सर्वश्रेष्ठ क्षण है। वह अभी अपने करिअर की सर्वश्रेष्ठ टेनिस खेल रहे हैं और जब तक ऐसा चल रहा है, टेनिस छोड़ने का सवाल ही नहीं उठता।

रॉड लेवर एरेना में दूसरी सीड लेकर उतरे 43 वर्षीय बोपन्ना और उम्र में उनसे सात वर्ष छोटे स्थानीय जोड़ीदार मैथ्यू एब्डेन ने इतालवी जोड़ी सिमोन बोलेली और आंद्रेआ वावासोरी 7-6 (0) 7-5 से हराकर ऑस्ट्रेलियाई ओपन की पुरुष युगल उपाधि जीत ली। इसके साथ ही बोपन्ना जहां ओपन युग से सर्वाधिक उम्रदराज ग्रैंड स्लैम पुरुष युगल चैम्पियन बने वहीं एब्डेन के साथ एक टीम के रूप में अपना पहला बड़ा खिताब हासिल किया।

चैम्पियन ट्रॉफी ग्रहण करने के बाद बोपन्ना ने कहा, ‘निःसंदेह यह मेरे करियर का सर्वश्रेष्ठ क्षण है। मेरे मन में टेनिस छोड़ने और रुकने का विचार आता था। लेकिन मुझे लगता है कि सबसे अच्छी बात जो मैंने खुद से कही थी कि मैं जो कर रहा हूं, उस पर कायम रहते हए उसका आनंद लेना है।’

61 प्रयासों में पहली बार जीता मेजर पुरुष युगल खिताब

दिलचस्प तो यह है कि बोपन्ना ने 61 प्रयासों में पहली बार कोई मेजर पुरुष युगल खिताब जीतकर ओपन युग का नया रिकॉर्ड बनाया। इसके साथ ही उन्होंने पहला ग्रैंड स्लैम पुरुष युगल खिताब जीतने से पहले सर्वाधिक 17 बार ऑस्ट्रेलियाई ओपन में भागीदारी करने वाले हमवतन लिएंडर पेस की बराबरी भी कर ली वहीं एब्डेन की अपने घरेलू ग्रैंड स्लैम में 15वीं भागीदारी थी, जो सूची में बोपन्ना से ठीक पीछे हैं।

पहली बार बनेंगे विश्व के सबसे उम्रदराज नंबर एक युगल खिलाड़ी

इस बीच दुनिया के तीसरे नंबर के खिलाड़ी बोपन्ना सोमवार को एटीपी टूर युगल रैंकिंग में शीर्ष पर पहुंचने के साथ ही इतिहास में पहली बार विश्व के सबसे उम्रदराज नंबर एक युगल खिलाड़ी बन जाएंगे। उन्होंने स्वीकार किया, ‘आप जानते हैं, कि मैं वर्षों से वहां पहुंचने की कोशिश कर रहा हूं। मेरा मतलब है कि बाधा कठिन थी।

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बोपन्ना ने कहा, ‘मुझे लगता है कि संप्रति मैं अपने जीवन की सर्वश्रेष्ठ टेनिस खेल रहा हूं। इसका सबसे बड़ा कारण यह भी है कि मैं अपने शरीर, अपने समय का प्रबंधन किस प्रकार कर रहा हूं। ऐसे भी दिन आते हैं, जब मैं अपने कोच या मैटी से कहता हूं कि मैं अभ्यास नहीं करना चाहता।’

जब तक खेल का आनंद ले रहा हूं, रुकने का कोई कारण नहीं नजर आता

उन्होंने कहा, ‘मुझे लगता है कि जहां मैं वास्तव में ध्यान केंद्रित कर रहा हूं, वहां रिकवरी एक बड़ा पहलू है। मैंने जिम जाना बंद कर दिया है। मैं वास्तव में अपने शरीर के लिए विशिष्ट प्रकार का काम करता हूं। मैं खूब योग करता हूं। सुबह मैं दिन की शुरुआत करने के लिए कुछ ध्यान लगाता हूं, जिसने वास्तव में मुझे शांत रहने और तरोताजा महसूस करने में मदद की है। जब तक मैं आनंद ले रहा हूं और अपनी सर्वश्रेष्ठ टेनिस खेल रहा हूं, रुकने का कोई कारण मुझे नजर नहीं आता।’

एब्डेन बोले – घरेलू प्रशंसकों के सामने जीतना सपना सच हे जैसा

वहीं बोपन्ना के साथी मैथ्यू एब्डेन ने मुस्कुराते हुए कहा, ‘ऑस्ट्रेलिया में अपने घरेलू प्रशंसकों के सामने जीतना एक सपने के सच होने जैसा है। आज यह इतना कठिन फाइनल था, मुझे लगता है कि यह किसी भी तरफ जा सकता था।’

36 वर्षीय एब्डेन का तीसरा ग्रैंड स्लैम सिरमौर है। वह 2013 में यहीं मिश्रित युगल खिताब और 2022 में विंबलडन पुरुष युगल खिताब जीत चुके हैं जबकि 2017 में रोलां गैरों मेंमिश्रित युगल जीत के बाद बोपन्ना का यह दूसरा मेजर खिताब है।

रोहन के लिए उम्र कोई संख्या नहीं, वह दिल से युवा हैं और चैम्पियन हैं

एब्डेन ने कहा, ‘क्या अद्भुत टूर्नामेंट है। मेरे साथी रोहन को धन्यवाद। वह 43 वर्ष के हैं और यह उनकी पहली पुरुष ग्रैंड स्लैम युगल जीत है। इस व्यक्ति के लिए वास्तव में उम्र कोई संख्या नहीं है। वह दिल से युवा हैं, वह एक चैम्पियन हैं, वह एक योद्धा हैं।’

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मेलबर्न पार्क में एब्डेन का पिछला सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 2022 में था, जब वह हमवतन मैक्स पर्सेल के साथ उप विजेता रहे था। खैर, पर्थ का यह एथलीट ओपन युग में ऑस्ट्रेलियाई ओपन पुरुष युगल खिताब जीतने वाला 28वां ऑस्ट्रेलियाई बन गया है। वर्तमान में करिअर के उच्चतम नंबर चार पर बैठे एब्डेन सोमवार को दुनिया के नंबर दो के एक नए शिखर पर पहुंचने के लिए तैयार हैं।