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केजरीवाल की गिरफ्तारी के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई पूरी, हाई कोर्ट ने सुरक्षित रखा फैसला

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नई दिल्ली, 3 अप्रैल। दिल्ली के कथित शराब घोटाला केस से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गिरफ्तारी के खिलाफ मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट में बुधवार को सुनवाई पूरी हो गई। फिलहाल हाई कोर्ट ने इस मामले में अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है।

सीएम केजरीवाल ने कथित शराब घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में अपनी गिरफ्तारी के खिलाफ याचिका दायर की थी, जिसके बाद हाई कोर्ट ने प्रवर्तन निदेशालय (ED) से जवाब मांगा था। ईडी ने मंगलवार को अपना जवाब पेश किया।

केजरीवाल की ओर से अभिषेक मनु सिंघवी ने रखा पक्ष

केजरीवाल के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने उनका पक्ष रखते हुए कहा कि केजरीवाल के खिलाफ पीएमएलए की धारा 50 के तहत कोई सामग्री नहीं है। ईडी ने पहला समन 30 अक्टूबर, 2023 को भेजा था और नौवां समन 16 मार्च, 2024 को भेजा गया। पहले और आखिरी समन के बीच छह महीने बीत गए। बिना किसी सबूत के केजरीवाल को गिरफ्तार कर लिया गया।

बिना किसी सबूत के केजरीवाल को गिरफ्तार कर लिया गया

अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि केजरीवाल को लोकसभा चुनाव में अपनी पार्टी के उम्मीदवारों का प्रचार करने से रोकने के लिए ऐसा किया गया है। पहला वोट डाले जाने से पहले ही केजरीवाल और उनकी पार्टी को तोड़ने की कोशिश है। उनके पास कोई सबूत नहीं हैं, सिर्फ सरकारी गवाहों के बयान के आधार पर गिरफ्तार किया गया। रेड्डी को 10 नवम्बर को गिरफ्तार कर लिया गया। उन्होंने नौ बयान दिए। सात गिरफ्तारी से पहले और दो गिरफ्तारी के बाद। ये हास्यास्पद है। जांच करने वाले कह रहे हैं कि जब तक आप केजरीवाल के खिलाफ बयान नहीं देंगे, हम बयान दर्ज करते रहेंगे।

ईडी ने केजरीवाल की जमानत याचिका का किया विरोध

वहीं ईडी ने केजरीवाल की याचिका का विरोध करते हुए कहा कि मामले में जांच शुरुआती चरण में है और जहां तक केजरीवाल का सवाल है, जांच खत्म नहीं हुई है। ईडी की तरफ से पेश हुए ASG एसपी राजू ने कहा कि मनी लॉन्ड्रिंग का जो अपराध हुआ है, वह स्पष्ट और संदेह से परे है। अदालत ने पूर्व में दायर अभियोजन शिकायतों पर संज्ञान लिया है। संज्ञान अपराध का है, अपराधी का नहीं।

एएसजी एसपी राजू बोले – अभी जांच खत्म नहीं हुई

एसपी राजू ने जवाब दाखिल करते हुए कहा कि आम आदमी पार्टी के चुनाव प्रचार के वेंडरों को मोटी रकम नगदी के रूप में दी गई। इसलिए किसी भी एकाउंट में इसकी जानकारी नहीं है। उन्होंने कहा कि याचिकाकर्ता की ओर से दी गई दलीलें इस तरह से दी गई हैं जैसे कि यह जमानत याचिका है न कि गिरफ्तारी को रद करने की याचिका है।

इसके पूर्व ईडी ने मंगलवार को कोर्ट में दायर अपने जवाब में बताया था कि ‘आप’ ने अरविंद केजरीवाल के जरिए मनी लॉन्ड्रिंग की है और यह अपराध पीएमएलए की धारा 70 के तहत आता है। जवाब में यह भी कहा गया कि AAP को शराब घोटाले से आए रुपयों का सबसे ज्यादा लाभ मिला। इन पैसों में से लगभग 45 करोड़ रुपये की नकदी का उपयोग गोवा विधानसभा चुनाव 2022 के दौरान चुनाव अभियान में किया गया है।

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से पत्नी की केजरीवाल से हुई बात

मुख्यमंत्री केजरीवाल ने मंगलवार दोपहर 1.30 बजे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से पत्नी सुनीता और परिवार के एक सदस्य से आधे घंटे तक बातचीत की। परिजनों ने उनकी तबीयत के बारे में जानकारी ली। केजरीवाल ने घर के अलावा दिल्ली के बारे में पूछा। परिवार के लोग केजरीवाल के स्वास्थ्य को लेकर चिंतित दिखे।

जेल सूत्रों का कहना है कि केजरीवाल को हफ्ते में दो बार वीडियो कॉल और रोजाना पांच मिनट तक फोन से बात करने की इजाजत दी गई है। जेल प्रशासन कॉल रिकॉर्ड करेगा। जेल अधिकारियों का कहना है कि सीएम होने के बावजूद उन्हें सभी नियमों का पालन करना होगा। उन्हें कोई भी विशेष सुविधा अलग से नहीं दी जाएगी। केजरीवाल का रक्तचाप नियंत्रण में है जबकि शुगर में उतार-चढ़ाव है।