नई दिल्ली, 1 जनवरी। वस्तु और सेवा कर (जीएसटी) का राजस्व संग्रह दिसंबर, 2021 में एक लाख 29 हजार 780 करोड़ रुपये रहा, जिसमें से केंद्रीय जीएसटी 22 हजार 578 करोड़ रुपये, राज्य जीएसटी 28 हजार 658 करोड़ रुपये, एकीकृत जीएसटी 69 हजार 155 करोड़ रुपये और उपकर नौ हजार 389 करोड़ रुपये है। वित्त मंत्रालय ने शनिवार को यह जानकारी दी।
हालांकि नवंबर के मुकाबले जीएसटी राजस्व संग्रह में मामूली कमी देखने को मिली। नवंबर में ग्रॉस जीएसटी कलेक्शन 1.31 लाख करोड़ रुपये पर रहा था, जो जीएसटी लागू होने के बाद दूसरा सबसे बड़ा आंकड़ा था।
वित्त मंत्रालय ने एक बयान में बताया कि दिसंबर महीने में केंद्र और राज्यों के कुल राजस्व के समायोजन के बाद केंद्रीय जीएसटी 48 हजार 146 करोड़ रुपये और राज्य जीएसटी 49 हजार 760 करोड़ रुपये बनता है।
पिछले वर्ष की इसी अवधि के जीएसटी राजस्व में 13 फीसदी की बढ़ोतरी
मंत्रालय के अनुसार दिसंबर, 2021 का राजस्व पिछले वर्ष की इसी अवधि के जीएसटी राजस्व से 13 प्रतिशत अधिक रहा। इस माह के दौरान 2020 के इसी माह के मुकाबले वस्तुओं के आयात से प्राप्त राजस्व 36 प्रतिशत और स्वदेशी कारोबार से प्राप्त राजस्व पांच प्रतिशत अधिक रहा।
बयान में बताया गया कि नवंबर 2021 में जनरेट हुए ई-वे बिल के मुकाबले 17 फीसदी की गिरावट के बावजूद दिसंबर माह में जीएसटी कलेक्शन 1.30 लाख करोड़ रुपये के पास रहा है। नवंबर, 2021 में 6.1 करोड़ ई-वे बिल जनरेट हुए थे जबकि अक्टूबर 2021 में 7.4 करोड़ ई-वे बिल जनरेट हुए थे। वर्तमान वर्ष की तीसरी तिमाही में ग्रॉस जीएसटी कलेक्शन 1.30 लाख करोड़ रुपये पर रहा है, जो पहली तिमाही में 1.10 लाख करोड़ और दूसरी तिमाही में 1.15 लाख करोड़ रुपये पर रहा था।
आखिरी तिमाही में जीएसटी कलेक्शन में और वृद्धि की उम्मीद
वित्त मंत्रालय का यह भी कहना है कि अर्थव्यवस्था में में आ रहे सुधार, कर चोरी के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान, नकली बिल बनाने वालों के खिलाफ हो रही काररवाई की वजह से जीएसटी कलेक्शन में बढ़त आती दिख रही है। इससे उम्मीद है कि वित्तीय वर्ष की आखिरी तिमाही में भी जीएसटी कलेक्शन में बढ़ोतरी देखने को मिलेगी।