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झारखंड के पूर्व सीएम शिबू सोरेन की हालत स्थिर, राष्ट्रपति मुर्मु ने सर गंगाराम अस्पताल में की मुलाकात

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नई दिल्ली, 26 जून। झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री शिबु सोरेन की हालत अब स्थिर है। किडनी की समस्या से पीड़ित 81 वर्षीय झामुमो नेता गत 19 जून से राष्ट्रीय राजधानी के सर गंगाराम अस्पताल में भर्ती हैं, जहां नेफ्रोलॉजी विभाग के अध्यक्ष डॉक्टर ए के भल्ला के नेतृत्व में उनका चल रहा है।

इस बीच राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू भी सर गंगाराम अस्पताल पहुंचीं और उन्होंने वयोवृद्ध नेता सोरेन से मुलाकात कर उनका हाल-चाल जाना। राष्ट्रपति ने अस्पताल में ही मौजूद शिबू सोरेन के पुत्र एवं झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से भी मुलाकात की।

दरअसल, राष्ट्रपति मुर्मु सर गंगाराम राम अस्पताल में नवनिर्मित कैंसर केयर सेंटर का उद्घाटन करने पहुंची थीं। जब उन्हें जब शिबू सोरेन के अस्पताल में भर्ती होने की जानकारी मिली तो उन्होंने उद्घाटन कार्यक्रम के बाद झामुमो नेता से मुलाकात कर उनका हाल चाल जाना।

अस्पताल प्रशासन का कहना है कि उनकी हालत स्थिर है। विशेषज्ञ डाक्टरों की टीम वयोवृद्ध आदिवासी नेता सोरेन की देखभाल कर रही है। इससे पहले बुधवार को झारखंड के राज्यपाल संतोष गंगवार ने भी पूर्व मुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद शिबू सोरेन से सर गंगाराम अस्पताल में भेंट कर उनके स्वास्थ्य की जानकारी ली थी।

संतोष गंगवार ने अपने एक्स हैंडल से इस बाबत एक पोस्ट भी किया है. पोस्ट में संतोष गंगवार ने लिखा,  ‘झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद शिबू सोरेन से दिल्ली स्थित गंगाराम अस्पताल में भेंट कर उनके स्वास्थ्य की जानकारी ली तथा उपस्थित चिकित्सकों से उनके उपचार की प्रगति के संबंध में चर्चा की। मैं ईश्वर से उनके शीघ्र पूर्ण रूप से स्वस्थ होने की कामना करता हूं। शिबू सोरेन 19 जून से सर गंगाराम अस्पताल में भर्ती हैं।’

इस बीच राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने गुरुवार को ही सर गंगा राम अस्पताल में कैंसर केयर सेंटर का औपचारिक उद्घाटन किया और कैंसर मरीजों से मुलाकात की। यह अत्याधुनिक सुविधा विशेष रूप से कैंसर रोगियों के लिए समर्पित है, जहां उन्हें समग्र देखभाल प्रदान की जाएगी। राष्ट्रपति ने पट्टिका का अनावरण किया और सेंटर का दौरा करते हुए अस्पताल द्वारा नैतिक और किफायती स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने में निभाई जा रही अहम भूमिका की सराहना की। उनकी उपस्थिति ने अस्पताल की सात दशकों की विरासत को गौरव और मान्यता दिलाई।

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