जम्मू, 2 जुलाई। अमरनाथ की पवित्र गुफा की तरफ जा रहे सैंकड़ों श्रद्धालुओं के लिए शुक्रवार की रात उस समय जान का संकट पैदा हो गया, जब मार्ग में एक नाले में बाढ़ आ गई। मार्ग पर तैनात जम्मू-कश्मीर पुलिस के जवानों ने उसी समय स्थिति संभाली और एक-एक कर सभी श्रद्धालुओं को नाला पार कराया।
बालटाल से पवित्र गुफा के रास्ते में बरारीमर्ग और वाई जंक्शन पर दो नाले हैं। इन नालों में पानी का बहाव बहुत तेज होता है। इन्हें पार करने के लिए लकड़ी के छोटे पुल बनाए गए हैं। शुक्रवार रात को ऊपरी इलाकों में हुई बारिश के बाद इन दोनों नालों का जलस्तर बढ़ गया। इससे पुल भी क्षतिग्रस्त हो गए। अंधेरा होने के कारण श्रद्धालुओं के लिए नालों को पार करना मुश्किल हो गया था और उनके लिए जान का संकट पैदा हो गया था। ऐसे में जम्मू-कश्मीर पुलिस के बचाव कर्मियों ने तुरंत मौके पर पहुंचकर स्थिति संभाला। उन्होंने एक-एक कर सभी श्रद्धालुओं को यह पुल पार कराए। यह क्रम देर रात गए तक जारी रहा।
228 छोटे-बड़े वाहनों में श्रद्धालुओं का चौथा जत्था रवाना
इस बीच शनिवार तड़के करीब चार बजे श्रद्धालुओं का चौथा जत्था अमरनाथ यात्रा के लिए रवाना हुआ। कड़े सुरक्षा घेरे में 228 छोटे-बड़े वाहनों में ये श्रद्धालु भगवान शिव की अराधना करते हुए पहलगाम व बालटाल के लिए रवाना हुए।
अमरनाथ यात्रा पर जाने वाले इन श्रद्धालुओं के वाहन बिना रोकटोक रवाना हो सके, इसके लिए शनिवार को भी जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर दो घंटों के लिए सामान्य यातायात बंद रखा गया। तड़के चार बजे से लेकर छह बजे तक किसी भी वाहन को जम्मू से राजमार्ग पर सफर करने की अनुमति नहीं थी। ऐसे वाहनों को नगरोटा में रोका गया था और जत्था रवाना होने के बाद इन्हें छोड़ा गया।
राजमार्ग पर पाबंदियों से स्थानीय बाशिंदे परेशान
फिलहाल अमरनाथ यात्रा के लिए श्रद्धालुओं की रवानगी अब स्थानीय बाशिंदों के लिए परेशानी का कारण बनने लगी है क्योंकि स्थानीय लोगों के राजमार्ग के इस्तेमाल पर पाबंदियां लागू कर दी गई हैं। इस कारण स्थानीय लोगों में अमरनाथ यात्रा को लेकर रोष पैदा होने लगा है।