Site icon Revoi.in

पश्चिम बंगाल में अलग कामतापुर राज्य की मांग, छात्र संगठन ने रेल रोकी, यातायात प्रभावित

Social Share

कोलकाता, 19 जनवरी। ऑल कामतापुर स्टूडेंट यूनियन (AKSU) नामक संगठन ने पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी जिले रेलवे लाइन को अवरुद्ध कर दिया है। छात्र संगठन ने जलपाईगुड़ी के बेतगारा रेलवे स्टेशन के नजदीक रेल मार्ग को अवरुद्ध कर दिया है, जिससे इस लाइन पर चलने वाला रेल यातायात प्रभावित हुआ है। छात्र संगठन अलग राज्य कामतापुर की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहा है।

पश्चिम बंगाल में अलग कामतापुर राज्य बनाने की मांग दशकों पुरानी है। इसे लेकर हिंसक आंदोलन भी हो चुका है। कामतापुर लिबरेशन ऑर्गेनाइजेशन (केएलओ) एक प्रतिबंधित राजबोंगशी संगठन है, जिसने 90 के दशक में अलग कामतापुर राज्य की मांग को लेकर सशस्त्र आंदोलन चलाया था। हालांकि 2002 में यह हिंसक आंदोलन समाप्त हो गया। कामतापुर लिबरेशन ऑर्गेनाइजेशन की राजनीतिक शाखा कामतापुर पीपुल्स पार्टी भी है। इनकी मांग है कि उत्तरी बंगाल को अलग राज्य कामतापुर बनाया जाए।

कामतापुर आंदोलन को राजबंशी आंदोलन के नाम से भी जाना जाता है। उत्तरी बंगाल के आठ जिलों और असम के बोंगाईगांव, धुबरी और कोकराझार जिलों में रहने वाले मूल निवासी कामतापुरी अलग राज्य बनाने की मांग कर रहे हैं। कामतापुरी या राजबंशी असम, उत्तर बंगाल, बिहार के पूर्णिया जिले, मेघालय के कुछ हिस्सों के अलावा बांग्लादेश, नेपाल और भूटान के कुछ क्षेत्रों में बसी हुई है। इनकी जड़ें कामता साम्राज्य से जुड़ी हैं। 16वीं शताब्दी में कूच साम्राज्य का इस समुदाय पर शासन था। राजबंशियों को अलग-अलग राज्यों में अलग दर्जा मिला हुआ है। असम-बिहार में इन्हें ओबीसी वर्ग में शामिल किया जाता है। वहीं पश्चिम बंगाल में इन्हें अनुसूचित जाति और मेघालय में अनुसूचित जनजाति में शामिल किया जाता है। कूच-राजबंशी अपनी कामतापुरी भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल करने की भी मांग कर रहे हैं।