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कांग्रेस का भाजपा पर पलटवार – ‘सनातन धर्म और राष्ट्रवाद पर ढोंगियों से प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं’

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नई दिल्ली, 12 सितम्बर। भारतीय जनता पार्टी द्वारा विपक्षी गठबंधन I.N.D.I.A को लगातार सनातन विरोधी बताए जाने पर कांग्रेस ने पलटवार करते हुए कहा है कि भाजपा से पार्टी को राष्ट्रवाद, सनातन धर्म और आजादी के आंदोलन में योगदान पर प्रमाणपत्र नहीं चाहिए।

कांग्रेस मुख्यालय पर मंगलवार को आहूत प्रेस कॉन्फ्रेंस में सुप्रिया श्रीनेत ने यह टिप्पणी DMK नेता पोनमुडी द्वारा दिए गए बयान पर भाजपा की तीखी प्रतिक्रिया के बाद की। उन्होंने यह भी कहा, ‘हमें किसी से भी, खासतौर पर ढोंगियों से प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं है क्योंकि इन सब पर उसका स्कोर निल बटे सन्नाटा है।’

उल्लेखनीय है कि तमिलनाडु सरकार में उच्च शिक्षा मंत्री के पोनमुडी का एक बयान चर्चा में है। पोनमुडी यह कहते दिखाई दे रहे हैं कि I.N.D.I.A गठबंधन का गठन ही सनातन धर्म के विरोध और उसे खत्म करने के लिए हुआ है। उन्होंने यह टिप्पणी उसी सम्मेलन में की, जिसमें मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के बेटे उदयनिधि स्टालिन ने सनातन धर्म की तुलना मलेरिया, कोरोना और डेंगू जैसी बीमारियों से की थी और इसके उन्मूलन का आह्वान किया था।

भारतीय सेब उत्पादक किसानों के खिलाफ फैसला लेने का भी पीएम मोदी पर आरोप

सुप्रिया श्रीनेत ने पीएम मोदी पर भारतीय सेब उत्पादक किसानों के हितों का नुकसान करने वाला फैसला लेने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा, ‘मेजबान हो तो नरेंद्र मोदी जैसा। अमेरिका के राष्‍ट्रपति हिन्दुस्‍तान आते हैं और अपने देश के किसानों के लिए उपहार लेकर चले जाते हैं। अमेरिका के सेब पर 15% इंपोर्ट ड्यूटी कर दी जाती है। मोदी जी, अमेरिका के किसानों को उपहार दे रहे हैं और अपने देश के किसानों पर चाबुक चला रहे हैं। जब मोदी जी प्रधानमंत्री नहीं थे तो कहते थे – सेब पर 100% इंपोर्ट ड्यूटी लगा देंगे। लेकिन अब खबरें हैं कि मोदी जी ने अमेरिका को कमिटमेंट किया है कि अमेरिकी सेब पर 15% इंपोर्ट ड्यूटी कर दी गई है, जो कभी 70% थी। एक बार मैंने कमिटमेंट कर दी तो मैं खुद की भी नहीं सुनता – मोदी जी ने ऐसा कमिटमेंट अडानी और अमेर‍का से किया है।’

कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा, ‘मोदी जी, जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के अपने सेब किसानों पर चाबुक चला रहे हैं। हिमाचल में अनुमानित 10 हजार करोड़ रुपए का नुकसान हुआ है, जहां की GDP का करीब 14% हिस्सा सेब के बागानों से आता है। आज वहां के लोगों को सहायता की जरूरत है, लेकिन पीएम मोदी 5 लाख से ज्यादा सेब किसानों के साथ नाइंसाफी कर रहे हैं।’

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