नई दिल्ली, 7 मार्च। आम चुनाव 2024 से पहले केंद्र सरकार ने एक अप्रैल से शुरू होने वाले अगले वित्तीय वर्ष के लिए उज्ज्वला योजना के तहत गरीब महिलाओं को प्रति एलपीजी सिलेंडर 300 रुपये की सब्सिडी वर्ष 2025 तक बढ़ाने की घोषणा कर दी। सरकार ने पिछले वर्ष अक्टूबर में प्रति वर्ष 12 रिफिल तक 14.2 किलोग्राम के सिलेंडर पर सब्सिडी 200 रुपये से बढ़ाकर 300 रुपये प्रति रिफिल कर दी थी। 300 रुपये प्रति सिलेंडर सब्सिडी चालू वित्त वर्ष के लिए थी, जो 31 मार्च को समाप्त हो रही है।
केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने गुरुवार को यहां संवाददाताओं से कहा कि आर्थिक मामलों की कैबिनेट समिति (सीसीईए) ने अब इस सब्सिडी को 2024-25 तक बढ़ाने का फैसला किया है। इस कदम से लगभग 10 करोड़ परिवारों को लाभ होने की संभावना है और सरकार पर 12,000 करोड़ रुपये का खर्च आएगा। आम चुनाव अप्रैल-मई में होने वाले हैं।
ग्रामीण और वंचित गरीब परिवारों को तरलीकृत पेट्रोलियम गैस (एलपीजी), एक स्वच्छ खाना पकाने का ईंधन उपलब्ध कराने के लिए, सरकार ने गरीब घरों की वयस्क महिलाओं को जमा-मुक्त एलपीजी कनेक्शन प्रदान करने के लिए मई 2016 में प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना (पीएमयूवाई) शुरू की।
पीएमयूवाई के तहत कनेक्शन मुफ्त में प्रदान किया गया था जबकि लाभार्थियों को बाजार मूल्य पर एलपीजी रिफिल खरीदना पड़ता था। जैसे ही ईंधन की कीमतें बढ़ीं, सरकार ने मई, 2022 में पीएमयूवाई लाभार्थियों को 200 रुपये प्रति सिलेंडर सब्सिडी प्रदान की। अक्टूबर, 2023 में यह सब्सिडी बढ़ाकर 300 रुपये कर दी गई थी।
मध्य प्रदेश और राजस्थान सहित पांच राज्यों में विधानसभा चुनावों से पहले, सरकार ने अगस्त के अंत में रसोई गैस की कीमतों में 200 रुपये प्रति सिलेंडर की कटौती की थी। इसके बाद एलपीजी सिलेंडर की कीमत 903 रुपये पर आ गई। तभी से यह दर यथावत है।
उज्ज्वला लाभार्थियों के लिए, 300 रुपए प्रति सिलेंडर सब्सिडी पर विचार करने के बाद कीमत 603 रुपये थी, जिसका भुगतान सीधे कनेक्शन धारकों के बैंक खातों में किया जाता है। पीएमयूवाई उपभोक्ताओं को लक्षित समर्थन उन्हें एलपीजी के निरंतर उपयोग के लिए प्रोत्साहित करता है। पीएमयूवाई उपभोक्ताओं की औसत एलपीजी खपत 2019-20 में 3.01 रिफिल से 20 प्रतिशत बढ़कर 2021-22 में 3.68 हो गई। सभी पीएमयूवाई लाभार्थी लक्षित सब्सिडी योजना के लिए पात्र हैं।