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नहीं रहे सीडीएस बिपिन रावत, हेलीकॉप्टर हादसे में पत्नी मधुलिका सहित 13 लोगों की मौत

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चेन्नई/नई दिल्ली, 8 दिसंबर। देश के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) जनरल बिपिन रावत नहीं रहे। जनरल रावत और उनकी पत्नी मधुलिका रावत सहित 13 लोगों का तमिलनाडु के कुन्नूर में बुधवार को एक हेलिकॉप्टर हादसे में निधन हो गया है। भारतीय वायुसेना ने शाम को जनरल रावत के निधन की पुष्टि की।

भारतीय वायुसेना  के अनुसार सेना का Mi-17 V5 हेलीकॉप्टर मध्याह्न बाद लगभग 12.20 बजे नीलगिरि की पहाड़ियों पर क्रैश हुआ। हेलीकॉप्टर में जनरल रावत व उनकी पत्नी मधुलिका सहित सेना के 14 लोग सवार थे। हादसे में 13 लोगों की मौत हो गई है, जबकि ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह की हालत गंभीर है। उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

पहले खबर आई थी कि हादसे में घायल हुए कुछ लोगों को गंभीर हालत में वेलिंगटन के मिलिट्री अस्पताल ले जाया गया, जहां से करीब साढ़े पांच घंटे तक खबर आती रही कि जनरल रावत और उनकी पत्नी समेत कुछ अफसर बुरी तरह घायल हुए हैं, लेकिन फिर बारी-बारी से मौत की खबर आने लगी।

कुन्नूर में एक कार्यक्रम में शामिल होने के बाद सुलूर लौट रहे

यह हादसा तब हुआ, जब जनरल रावत कुन्नूर में एक कार्यक्रम में शामिल होने के बाद सुलूर लौट रहे थे। हेलिपैड से 10 मिनट के दूरी पर घने जंगलों के बीच हेलीकॉप्टर क्रैश हो गया।

दिवंगत जनरल रावत के शोक संतप्त परिवार में दो बेटियां हैं। सभी मृतकों के शवों को गुरुवार की शाम तक दिल्ली लाए जाने की संभावना है।

पीएम मोदी बोले – रावत सच्चे देशभक्त, उनके जाने का गहरा दुख

इस बीच सीडीएस रावत के निधन पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, उप राष्ट्रपति वेंकैया नायडू, प्रधानमंत्री  नरेंद्र मोदी और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह सहित अनेक नेताओं ने शोक व्यक्त किया है।

पीए मोदी ने एक ट्वीट के जरिए अपने शोक संदेश में लिखा – ‘जनरल रावत बेमिसाल सैनिक थे। सच्चे देशभक्त थे और उन्होंने हमारी सेनाओं के मॉर्डनाइजेशन के लिए योगदान दिया। उनके जाने से मुझे गहरा दुख हुआ है।’ रक्षा मंत्री राजनाथ ने कहा – ‘रावत का असमय निधन देश और सेना के लिए कभी पूरी न हो पाने वाली क्षति है।’

हेलिकॉप्टर में ये लोग सवार थे

हादसे का शिकार हुए Mi-17 V5 हेलीकॉप्टर में जनरल रावत, उनकी पत्नी के अलावा 12 लोग और थे। इनके अलावा ब्रिगेडियर एलएस लिद्दर, लेफ्टिनेंट कर्नल हरजिंदर सिंह, नायक गुरसेवक सिंह, नायक जितेंद्र कुमार, लांस नायक विवेक कुमार, लांस नायक बी. साई तेजा और हवलदार सतपाल सवार थे। इसके अलावा पांच और लोग हेलीकॉप्टर पर सवार थे।

घने जंगल और कम विजिबिलिटी हादसे की वजह

दिल्ली में उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया कि हादसे की वजह घने जंगल और कम विजिबिलिटी रहे। खराब मौसम के दौरान बादलों में विजिबिलिटी कम होने की वजह से हेलीकॉप्टर को कम ऊंचाई पर उड़ान भरनी पड़ी। लैंडिंग प्वॉइंट से दूरी कम होने की वजह से भी हेलीकॉप्टर काफी नीचे उड़ान भर रहा था। नीचे घने जंगल थे, इसलिए क्रैश लैंडिंग भी फेल हो गई। इस हेलीकॉप्टर के पायलट ग्रुप कमांडर और सीओ रैंक के अधिकारी थे, ऐसे में मानवीय भूल की आशंका न के बराबर है।

चश्मदीद बोले – आग का गोला बन गया था हेलीकॉप्टर

चश्मदीदों के अनुसार हादसे से पहले बहुत तेज आवाज सुनाई दी। हेलीकॉप्टर पहले पेड़ों पर गिरा। इसके बाद उसमें आग लग गई और वह आग के गोले में तब्दील हो गया। एक और चश्मदीद का कहना था कि उसने जलते हुए लोगों को हेलीकॉप्टर से बाहर गिरते हुए देखा।

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