सुरेंद्रनगर, 24 दिसम्बर। गुजरात में एक वर्ष के भीतर पुल टूटने की तीसरी घटना सामने आई है। अब रविवार को सुरेंद्रनगर जिले में भोगावो नदी पर निर्मित पुल ध्वस्त गया और एक ट्रक सहित कई वाहन नदी में जा गिरे। गनीमत रही कि हादसे में कोई हताहत नहीं हुआ और जो 10 लोग नदी में गिरे, उन सभी को रेस्क्यू कर बचा लिया गया।
कोई हताहत नहीं, नदी में गिरे सभी 10 लोगों को बचा लिया गया
प्राप्त जानकारी के अनुसार हादसा सुरेंद्रनगर जिले के वस्तादी गांव के पास दोपहर के वक्त हुआ। राष्ट्रीय राजमार्ग को चूड़ा से जोड़ने वाला पुल भोगावो नदी पर बना हुआ है। पुल ध्वस्त होते ही उस पर से गुजर रहे ट्रक व मोटर साइकिल सहित कई वाहन नदी में गिर गए। साथ ही इनमें सवार लोग भी पानी में जा गिरे।
घटना के बाद मौके पर चीख-पुकार मच गई थी। जानकारी मिलते ही गांव के सरपंच और अन्य लोग घटनास्थल पर पहुंचे। वहीं, पुलिस और प्रशासन की टीम भी मौके पर पहुंची और नदी में गिरे 10 लोगों को बचा लिया गया।
40 वर्ष पुराना है पुल, भारी वाहन गुजरने से हुआ हादसा
घटना को लेकर सुरेंद्रनगर डीएम केसी संपट का कहना था कि पुल 40 वर्ष पुराना है। इसका निर्माण पंचायत द्वारा कराया गया था। भारी वाहनों का इससे गुजरना प्रतिबंधित है, फिर भी रेत से भरा ट्रक ले जाया जा रहा था। डीएम ने बताया कि संभवत: ट्रक के भार के कारण पुल का स्लैब टूट गया, जिससे यह हादसा हुआ। इस पुल को पहले ही सड़क और परिवहन विभाग को सौंप दिया गया था, इसकी जगह नया पुल बनाने की मंजूरी भी मिली हुई है। मामले की जांच की जा रही है।
110 गांवों को जोड़ता है यह पुल
बताया गया कि यह पुलिस चूड़ा और वढवान तहसील को जोड़ता है। रोजाना हजारों वाहन इससे गुजरते हैं। तकरीबन 110 गांवों के लोग इस पुल उपयोग करते हैं। ब्रिज स्टेट हाईवे को कनेक्ट करता है। अब इस पुल के टूटने के कारण लगभघ 100 गांव के लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ेगा।
पिछले वर्ष मोरबी पुल हादसे में 135 लोगों की गई थी जान
गौरतलब है कि पिछले वर्ष 30 अक्टूबर को मोरबी जिले में मच्छु नदी पर निर्मित सस्पेंशन ब्रिज के टूटने से बड़ा हादसा हुआ था। उस हादसे में 300 से ज्यादा लोग नदी में गिर गए थे। हादसे में 135 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई थी।
इस वर्ष जून में तापी जिले में टूटा था पुल
इसी प्रकार गत 14 जून को तापी जिले की व्यारा तहसील की मिंधोला नदी पर निर्मित पुल का एक हिस्सा लोकार्पण से पहले ही ढह गया था। पुल ढहने से क्षेत्र के करीब 15 गांव प्रभावित हो गए थे। हालांकि जिस वक्त यह हादसा हुआ, वहां कोई नहीं था। इसलिए हादसे में कोई हताहत नहीं हुआ था।