कोलकाता, 6 अप्रैल। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शनिवार को आरोप लगाया कि पूर्व मेदिनीपुर जिले के भूपतिनगर इलाके में ग्रामीणों ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) के अधिकारियों पर हमला नहीं किया बल्कि एनआईए के अधिकारियों ने उनपर (ग्रामीणों पर) हमला किया।
भूपतिनगर घटना के लिए भाजपा को ठहराया जिम्मेदार
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भूपतिनगर घटना के लिए भारतीय जनता पार्टी को जिम्मेदार ठहराते हुए दावा किया कि चुनाव से पहले तृणमूल के बूथ कार्यकर्ताओं और एजेंटों को हटाने के लिए यह योजना बनाई जा रही है। उन्होंने केंद्रीय जांच अधिकारियों को यह याद दिलाया कि भाजपा हमेशा सत्ता में नहीं रहेगी।
सीएम ने पूछा – एनआईए ने आधी रात को क्यों मारा छापा?
तृणमूल कांग्रेस (TMC) प्रमुख ममता ने दक्षिण दिनाजपुर जिले के बालुरघाट में एक चुनावी रैली के दौरान कहा कि हमला भूपतिनगर की महिलाओं ने नहीं किया था, बल्कि राष्ट्रीय जांच एजेंसी के अधिकारियों ने हमला किया था। उन्होंने कहा कि यदि महिलाओं पर हमला होगा तो क्या महिलाएं शांत बैठी रहेंगी?
उन्होंने कहा कि दिसम्बर 2022 की घटना को लेकर एनआईए अधिकारियों का तड़के उनके घरों में जाने का उन्होंने केवल विरोध किया था। उन्होंने आधी रात को छापा क्यों मारा? क्या उनके पास पुलिस की अनुमति थी? स्थानीय लोगों ने उसी तरह प्रतिक्रिया व्यक्त की, जैसे यदि कोई अन्य अजनबी आया होता तो करते।
ममता ने सवाल किया कि आधी रात को वे लोगों को चुनाव से ठीक पहले क्यों गिरफ्तार कर रहे हैं? भाजपा क्या सोचती है? कि वे हर बूथ एजेंट को गिरफ्तार करेंगे? वे भाजपा का समर्थन करने के लिए यह सब कर रहे हैं। दुनिया को इस भाजपा की गंदी राजनीति के खिलाफ लड़ना होगा।
एनआईए टीम पर हमले का आरोप
वहीं पुलिस ने बताया कि भूपतिनगर इलाके में 2022 के बम विस्फोट मामले की जांच के लिए गए एनआईए के दल पर ग्रामीणों ने शनिवार को हमला कर दिया। एनआईए अधिकारियों के एक दल ने इस मामले के संबंध में शनिवार सुबह दो लोगों को गिरफ्तार किया और यह दल कोलकाता वापस जा रहा था, तभी उसके वाहन पर हमला हुआ।
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि स्थानीय लोगों ने वाहन को घेर लिया और उस पर पथराव किया। एनआईए ने कहा है कि उसका एक अधिकारी घायल भी हुआ है। उन्होंने बताया कि एनआईए ने भी इस संबंध में पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है।
‘निष्पक्षता से काम करे चुनाव आयोग‘
दरअसल, भूपतिनगर में तीन दिसम्बर, 2022 को एक कच्चे घर में हुए विस्फोट में तीन लोगों की मौत हो गई थी। बाद में मामले की जांच एनआईए को सौंप दी गई थी। ममता ने केंद्र में सत्तारूढ़ भाजपा की सरकार पर चुनाव जीतने के लिए केंद्रीय एजेंसियों के इस्तेमाल की कोशिश का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, ‘हम चाहते हैं कि चुनाव आयोग भाजपा संचालित आयोग न बने बल्कि निष्पक्षता से काम करे।’ उन्होंने चुनाव आयोग की ओर से बंगाल के पुलिस अधिकारियों के तबादले पर सवाल उठाते हुए पूछा कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी), केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) और आयकर विभाग (आईटी) के अधिकारियों को क्यों नहीं बदला गया।
Smt. @MamataOfficial's has exposed the facade of BJP's puppetry with NIA and CBI. @BJP4India's weak political strategy is laid bare as they shamelessly misuse Central Investigative Agencies during elections.Their desperation reeks of failure in facing us politically! pic.twitter.com/I9z4ubMQe4
— All India Trinamool Congress (@AITCofficial) April 6, 2024
‘एनआईए और सीबीआई, सब भाजपा के भाई‘
बनर्जी ने रैली में कहा कि एनआईए और सीबीआई, सब भाजपा के भाई हैं। ईडी और आईटी विभाग भाजपा को फंड मुहैया कराने वाले बक्से हैं। यदि आप (भाजपा) में ताकत है, तो चुनाव लोकतांत्रिक तरीके से लड़कर जीतें। मेरे बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं और चुनाव एजेंट को गिरफ्तार न करें।
हेमंत सोरेन-केजरीवाल की गिरफ्तारी की निंदा भी की
उन्होंने कथित भूमि घोटाले में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और आबकारी नीति से संबंधित मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को केंद्रीय एजेंसियों की ओर से गिरफ्तार किए जाने की भी निंदा की। उन्होंने कहा कि चुनाव में सभी को समान अवसर मिलने चाहिए।