लखनऊ, 25 फरवरी। यूपी विधानसभा में आज मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्यपाल के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव के दौरान प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव पर निशाना साधते हुए उनके हर सवालों की जवाब दिया। इस दौरान सीएम योगी आदित्यनाथ और अखिलेश यादव में बहस तू तड़ाक पर आ गई।
दरसअल सीएम योगी ने जब पूर्व मुख्यमंत्री स्व. मुलायम के बयान को कोट करते हुए कहा “लड़कों से गलती हो जाती है” तो इस पर सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने पूछा “ स्वामी चिन्मयानंद किसके गुरू हैं।” इस पर सीएम योगी बोले – “तुम क्या बोलोगे, तुम तो अपने बाप का सम्मान नहीं कर पाए”। इतना ही नहीं सीएम योगी ने इस दौरान मुलायम सिंह यादव के राज में मायावती के साथ हुए गेस्ट हाउस कांड का भी जिक्र किया।
वहीं सीएम योगी ने इस दौरान रामचरित मानस विवाद पर भी सपा घेरा। उन्होंने कहा कि एक पवित्र ग्रन्थ को फाड़ा गया और उसे जलाया गया। क्या यह सनातन धर्म का अपमान नहीं था। मुख्यमंत्री ने उस विवादित चौपाई का भी अर्थ समझाया, जिसको लेकर विवाद शुरू हुआ था। सीएम योगी ने कहा चौपाइयों की सही व्याख्या होनी चाहिए। तुलसीदास जी ने रामचरितमानस की रचना अवधी में की है। अवधि में ताड़न का क्या अर्थ होता है?
उन्होंने कहा कि ताड़न का अर्थ होता है ध्यान देना, उचित शिक्षा देना। उन्होंने कहा शूद्र का मतलब क्या है। शूद्र का मतलब श्रमिक वर्ग से है। बाबा साहेब आंबेडकर ने कहा था कि दलित को कोई शूद्र नहीं कहेगा, लेकिन आपने उसका भी ख्याल नहीं रखा। उन्होंने रामचरित मानस की एक चौपाई के साथ तंज भी कसा और कहा- “जाको प्रभु दारुण दिख दीन्हा, ताकि मति पहले हर लेना।”